क्या होगा जब अधिक तापमान के कारण स्थिति से निपटना हो जाएगा मुश्किल
Effect of high temperature on health : अलनीनो से जुड़ी गर्म, शुष्क मौसमी दशाएं हमारे स्वास्थ्य के लिए नुकसानदेह हो सकती हैं, लेकिन इन उपायों से मदद मिल सकती है। अमेरिकी पर्यावरण पूर्वानुमान राष्ट्रीय केंद्र से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार पिछले हफ्ते दो सर्वाधिक शुष्क दिन दर्ज किए गए। अधिक गर्मी अलनीनो परिघटना और कार्बन डॉइऑक्साइड के जारी उत्सर्जन के कारण पड़ी है।
एशिया के ज्यादातर हिस्सों की तरह मलेशिया महीनों से अधिक गर्मी की गिरफ्त में है। मलेशियाई स्वास्थ्य मंत्रालय ने जून में गर्मी से जुड़ी बीमारी के 39 मामले दर्ज किए। यहां तक कि पशु भी इससे अछूते नहीं हैं। एक मलेशियाई पशुपालन केंद्र प्रबंधक ने गर्मी के चलते अपने 20 पशु गंवा दिए।
क्षेत्र अब सितंबर तक अलनीनो की हल्की परिस्थिति का सामना कर रहा है, जो नवंबर तक प्रबल हो जाएगी, जिससे मलेशिया में बारिश में 20 से 40 प्रतिशत तक कमी आएगी। अलनीनो की दशाएं 2023 के अंत तक क्रमश: मजबूत रह सकती हैं। अलनीनो की परिस्थितियां रहने के दौरान अक्सर अधिक तापमान और कम बारिश होती है। शुष्क मौसम रहने से खासतौर पर जंगलों में आग लगने की आशंका बढ़ जाती है।
विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि धुआं और प्रदूषक तत्व धुंध की गंभीर स्थिति पैदा करेंगे। इन बदलावों का मानव स्वास्थ्य पर गंभीर प्रभाव पड़ता है। विशेषज्ञों ने कहा कि हमें जीवन और आजीविका बचाने के लिए प्रतिकूल मौसमी परिघटनाओं के वास्ते तैयारी करने की जरूरत है।
अलनीनो के जगजाहिर प्रभाव मलेरिया, डेंगू और पीत ज्वर (एलो फीवर) जैसे मच्छर जनित रोग तथा हैजा, टाइफाइड और दस्त जैसे जल जनित रोग हैं, वहीं अलनीनो के गैर-संचारी रोगों के रूप में प्रभाव पड़ने की अनदेखी नहीं की जा सकती।
अध्ययन से पता चला है तापमान का जलवायु परिवर्तन और अलनीनो से एक मजबूत संबंध है। विश्व मौसम कार्यालय के अनुसार, अलनीनो की शुरूआत से विश्व के कई हिस्सों और सागर में तापमान के रिकॉर्ड टूटने की काफी संभावना बढ़ाएगी। अलनीनो अपने चरम पर वायु गुणवत्ता को भी प्रभावित कर सकती है।
शोध में पता चला है कि नाइट्रोजन ऑक्साइड, सल्फर डॉइऑक्साइड और ओजोन श्वसन प्रणाली को प्रभावित कर सकते हैं। तापमान बढ़ने से भोजन जल्द खराब हो जाएगा, इस तरह इसे सुरक्षित रखने के लिए अधिक सावधानी बरतनी पड़ेगी।अलनीनो के प्रभाव को न्यूनतम करने के लिए अधिकारियों, विशेषज्ञों और लोगों की समन्वित कोशिशें जरूरी हैं।
Edited By : Chetan Gour