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Last Updated : गुरुवार, 27 जून 2019 (20:10 IST)

नरेन्द्र मोदी ने कहा, कार से बुलेट ट्रेन तक भारत जापान संबंधों ने तय की है लंबी दूरी

Narendra Modi। नरेन्द्र मोदी ने कहा, कार से बुलेट ट्रेन तक भारत जापान संबंधों ने तय की है लंबी दूरी - Narendra Modi Japan visit
कोबे (जापान)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गुरुवार को कहा कि जापान और भारत के संबंध समय के साथ मजबूत होते आ रहे हैं। इसी संदर्भ में उन्होंने कहा कि दोनों ने कार बनाने के लिए आपस में सहयोग की शुरुआत की थी और अब दोनों मिलकर बुलेट ट्रेन बनाने जा रहे हैं।
 
प्रधानमंत्री मोदी ने कोबे शहर में भारतीय समुदाय के लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि जापान ने भारत के आर्थिक विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। जब विश्व के साथ भारत के संबंध की बात आती है, जापान एक महत्वपूर्ण स्थिति रखता है। ये संबंध आज के नहीं हैं, बल्कि सदियों पुराने हैं। इसके आधार में सौहार्द तथा एक-दूसरे की संस्कृतियों के प्रति सम्मान है।
 
उन्होंने कहा कि भारत अगले 5 साल में 5 लाख करोड़ डॉलर की अर्थव्यवस्था बनने का लक्ष्य लेकर चल रहा है, ऐसे में द्विपक्षीय संबंध पहले से भी और बेहतर होने वाले हैं। मोदी शुक्रवार से ओसाका में शुरू हो रहे जी-20 शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए यहां आए हैं।
 
उन्होंने कहा कि एक ऐसा समय था, जब हम कार बनाने के लिए एकसाथ आए थे और अब हम बुलेट ट्रेन बनाने के लिए एकसाथ आए हैं। आज भारत में ऐसा कोई भी हिस्सा नहीं है, जहां जापान की परियोजनाओं या निवेश ने अपना चिह्न नहीं छोड़ा है। इसी तरह भारत की प्रतिभा और श्रमबल ने जापान को मजबूत बनाने में योगदान दिया है। जापान में रह रहे भारतीय मूल के लोगों ने प्रधानमंत्री मोदी का गर्मजोशी से स्वागत किया।
 
गौरतलब है कि भारत ने अहमदाबाद से मुंबई के बीच पहली बुलेट ट्रेन चलाने की योजना बनाई है। इसमें जापानी मदद से काम चल रहा है। इस परियोजना का पहला चरण 2022 तक पूरा होने की उम्मीद है। 508 किलोमीटर की इस लाइन के लिए नेशनल हाईस्पीड रेल कॉर्पोरेशन लि. (एनएचआरएससीएल) भूमि जुटाने का काम कर रही है।
 
मोदी ने कहा कि स्वामी विवेकानंद, रवीन्द्रनाथ टैगोर, महात्मा गांधी, नेताजी सुभाष चंद्र बोस, न्यायमूर्ति राधाविनोद पाल और कई सारे भारतीयों ने जापान के साथ भारत का संबंध मजबूत किया है। यही कारण है कि द्वितीय विश्वयुद्ध के बाद दोनों देशों के संबंध नई ऊंचाइयों पर पहुंचे।
 
उन्होंने कहा कि जब मैं 2014 में प्रधानमंत्री बना, मुझे अपने दोस्त प्रधानमंत्री (जापान के) शिंजो आबे के साथ मिलकर भारत-जापान दोस्ती को मजबूत करने का अवसर मिला। हमने राजनयिक संबंधों को राजधानी और राजदूतों से आगे बढ़ाकर सीधे जनता के बीच पहुंचा दिया। मोदी ने इस मौके पर आबे की सराहना भी की।
 
उन्होंने कहा कि मुझे दिल्ली और अहमदाबाद के अलावा प्रधानमंत्री आबे को वाराणसी ले जाने का अवसर मिला। उन्होंने मेरे संसदीय क्षेत्र की यात्रा की और वहां गंगा आरती में भाग लिया। उन्हें जब भी मौका मिला, उन्होंने पवित्र अनुभव के बारे में बातें कीं।
 
मोदी ने कहा कि उनकी सरकार का मुख्य ध्यान सामाजिक सुरक्षा और बुनियादी संरचना के विकास पर रहा है। हम अगले कुछ महीने में 'चंद्रयान-दो' लांच करने वाले हैं तथा 2022 तक हमारी योजना मानवरहित अंतरिक्ष यात्रा अभियान गगनयान शुरू करने की है। (भाषा)