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उड़द की दाल सिर्फ खाने के लिए ही नहीं है बल्कि करती है गरीबी दूर, पढ़ें 7 अनसुने उपाय

उड़द की दाल सिर्फ खाने के लिए ही नहीं है बल्कि करती है गरीबी दूर, पढ़ें 7 अनसुने उपाय - urad ki daal ke totke
उड़द की दाल सामान्य रूप से खाने में उतनी स्वादिष्ट नहीं होती है जितने स्वादिष्ट उसके व्यंजन बनते हैं। लेकिन यहां हम बता रहे हैं उड़द की दाल के कुछ ऐसे उपाय जो ना सिर्फ गरीबी दूर करने में सहायक है बल्कि ये जीवन के कई संकटों को भी दूर करेंगे। 
 
दुर्भाग्य दूर करने हेतु : शनिवार को सायंकाल उड़द के दो साबुत दाने लेकर उन पर थोड़ा सा दही -सिंदूर डालकर पीपल वृक्ष के नीचे 21 दिन तक नित्य रखें, ध्यान रहे की वापस आते समय पीछे मुड़कर न देखें।
 
शनिदोष दूर करने के लिए : शनि दृष्टि दोष दूर करने के लिए उड़द की दाल के 4 बड़े दाने शनिवार को प्रात: सिर से 3 बार उलटा घुमाकर कौओं को खिलाएं। ऐसा सात शनिवार तक करेंगे तो शनिदोष दूर हो जाएगा। उड़द का दान करने से भी शनिदोष कम होता है। किसी भिखारी को उड़द की कचोरी खिलाने से भी काम बनता है। किसी सफाईकर्मी को उड़द का दान कर सकते हैं।
 
गरीबी दूर करने के लिए : शनिवार को अपने पलंग के नीचे एक बर्तन में सरसों का तेल रखें। अगले दिन उस तेल में उड़द की दाल के गुलगुले बनाकर कुत्तों और गरीबों को खिलाने से गरीबी दूर होती है और लक्ष्मी का आगमन होता है।
 
दुकान बंधी है यह कैसे जानें? यदि आपको लगता है कि आपकी दुकान किसी ने बांध रखी है तो आप रविवार की शाम को चालीस दाने लेकर उनपर चालीस बार निम्नलिखित मंत्र पढ़कर दुकान के चारों कोने में बराबर मात्रा में डाल दें। दूसरे दिन सुबह देखें कि उड़द के दाने साबुत हैं या कि उसमें से कुछ दानें छिटके, टूटे या फूटे हैं। साबुत है तो दुकान नहीं बंधी है और यदि साबुत नहीं है तो दुकान बंधी थी। मंत्र:- भंवर वीर तू चेला मेरा खोल दुकान कहा कर मेरा, उठे जो डंडी किके जो मॉल, भंवर वीर सोखे नहीं जाए।
 
नया उद्योग शुरू करने हेतु: यदि आप व्यवसायी हैं, पुराने उद्योग के चलते नया उद्योग आरम्भ कर रहे हों तो अपने पुराने कारखाने से कोई भी लोहे की वास्तु ला कर अपने नए उद्योग स्थल में रख दें। जिस स्थान पर इस को रखेंगे वहां पर स्वस्तिक बनाएं और वहां पर थोड़े से काले उड़द रखें उसके ऊपर उस वस्तु को रख दें। ऐसा करने से नवीन उद्योग भी पुराने उद्योग की तरह सफलता पूर्वक चल पड़ता है।
 
धन समृद्धि हेतु : शुभ मुहूर्त में उड़द की दाल को पिसवाकर उसके दो बड़े बनाएं। शाम को ठीक सूर्यास्त के समय इन पर शुद्घ दही और सिंदूर लगाएं। ध्यान रखें, उड़द की दाल में कोई अन्य दाल न मिली हो। बड़ों को ले जाकर किसी पीपल के पेड़ के नीचे रख कर पीपल को प्रणाम करें। पीछे की ओर मुडकर देखे बिना वापस घर लौट आएं। ध्यान रखें रास्ते में कहीं रूके नहीं और न किसी से बात करें। ऐसा 21 शनिवार तक करेंगे तो धनलाभ मिलेगा
 
सभी समाधान हेतु : सवा किलो उड़द की दाल और ढाई सौ ग्राम काली तिल को मिलाकर पीस लें। अब प्रति मंगलवार को उसे आटे को गूंथकर दीपक बनाएं और 11 मंगलवार तक बढ़ते हुए क्रम में हनुमानजी को अर्पित करें। जैसे पहले दिन एक दीपक, दूसरे दिन दो, तीसरे दिन तीन दीपक लगाएं। इसी तरह 11 दिनों तक 11 दीपक लगाएं। यह दीपक सरसों के तेल में ही लगाएं। जब 11 दिन पूरे हो जाएं तो घटते क्रम में दीपक लगाना शुरू कर दें। इस उपाय को करने से आप हर तरह की समस्या से छुटकारा पा लेंगे।