इन 5 पाकिस्तानी खिलाड़ियों पर होगी नजर, भारत को रहना होगा चौकस
भारत बनाम पाकिस्तान किसी बड़ी जंग से कम नहीं होता। जब जब यह दोनों टीमें आपस में भिड़ती है तो माहौल गरमा जाता है। स्टैंड्स में दर्शक हो या फिर टीवी स्क्रीन पर दर्शक सबएक टक मैच देखते हैं। जिनकी क्रिकेट में खास दिलचस्पी भी नहीं होती है, वह भी इस दिन क्रिकेट देखते हैं ताकि पाकिस्तान को हारते हुए देख सके। जाहिर तौर पर सीमा पार भी यह ही माहौल रहता होगा।
शाहीन अफरीदी के बाहर जाने के कारण पाकिस्तान की टीम कमजोर तो हुई है लेकिन बहुत कमजोर नहीं हुई है। पिछले साल टी-20 विश्वकप में भारत को 10 विकेटों से हराने के बाद अब जो मनौवैज्ञानिक दबाव है वह भी कम हो गया है। दूसरी बात जो पाकिस्तान के पक्ष में जाती है कि पिछली ऐतिहासिक जीत दुबई के मैदान पर ही आई थी।
ऐसे में यह देखना जरूरी है कि किन पाकिस्तानी खिलाड़ियों के खिलाफ भारत को सतर्क रहने की आवश्यकता है।
1)
बाबर आजम- पिछली बार भारत के खिलाफ 80 रनों से ज्यादा बनाने वाले बाबर आजम वह ही प्रदर्शन दुबारा दोहराना चाहेंगे। बाबर आजम सफेद गेंद क्रिकेट की रैंकिंग में नंबर 1 है। उनके खिलाफ भारत को एक सशक्त रणनीति बनानी होगी।
2) मोहम्मद रिजवान- रिजवान ने पिछली बार बाबर से भी बेहतर प्रदर्शन कर भारत को एक करारी हार थमाई थी। रिजवान बाबर के साथ ही सलामी बल्लेबाजी पर उतरेंगे। उनका विेकेट जल्द लेना जरूरी है नहीं तो वह काफी तेजी से रन बनाकर पाकिस्तान के लिए नींव तैयार कर सकते हैं।
3) फकर जमान- इस नाम को तो भारत शायद ही कभी भूले। चैंपियन्स ट्रॉफी फाइनल में शतक लगाकर भारत को मैच से बाहर करने वाले फकर ने वैसी पारी भारत के खिलाफ नहीं खेली है। हो सकता है इस बार बाएं और दाएं हाथ की जोड़ी को बरकरार रखने के लिए बाबर उन्हें अपने स्थान या फिर रिजवान के स्थान पर बल्लेबाजी करने भेंजे।
4) शादाब खान- वैसे तो भारत का प्रदर्शन स्पिनर्स के खिलाफ खासा अच्छा रहा है लेकिन शादाब खान ने कई मौकों पर भारत के अहम विकेट निकाले हैं। पिछली बार उन्होंने लय प्राप्त कर चुके ऋषभ पंत को आउट किया था तो चैंपियन्स ट्रॉफी में युवराज सिंह को। भारत ने हालांकि शादाब को कई बार पीटा भी है। उन पर भी निगाहें रहेंगी।
5) मोहम्मद हसनैन- शाहीन अफरीदी की जगह आए इस दाएं हाथ के तेज गेंदबाज ने भारत को अंडर 19 विश्वकप में खासा परेशान किया था। अपनी तेजी के लिए मशहूर हसनैन के पास में बड़ी जिम्मेदारी है। यह पहली बार होगा जब वह भारत की वरिष्ठ टीम के सामने होंगे।