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Written By वार्ता

बल्लेबाजी पावरप्ले में भारत कमजोर

बल्लेबाजी पावरप्ले में भारत कमजोर -
बल्लेबाजी पावरप्ले वनडे में इसलिए रखा गया है कि टीम इस दौरान ज्यादा फील्डरों के घेरे में रहने का फायदा उठाकर अधिक से अधिक रन बटोर सके लेकिन लगता है कि भारतीय बल्लेबाज बल्लेबाजी पावरप्ले का फलसफा विश्वकप में अभी तक समझ नहीं पाए हैं।

विश्वकप में भारत के सभी छह ग्रुप मैच पूरे होने के बाद देखा जाए तो भारत बल्लेबाजी पावरप्ले में अधिकतर फ्लॉप ही रहा है। वेस्टइंडीज के खिलाफ चेन्नई में अंतिम ग्रुप मैच में भारत ने 45 ओवर तक बल्लेबाजी पावरप्ले नहीं लिया और 46वाँ ओवर शुरू होते ही बल्लेबाजी पावरप्ले स्वतः ही चालू हो गया।

लेकिन 4.1 ओवर के दौरान भारत ने सिर्फ 28 रन जोड़कर अपने अंतिम चार विकेट गँवा दिए। भारत ने 47वें ओवर में खतरनाक बल्लेबाज यूसुफ पठान को, 48वें ओवर में हरभजन सिंह को, 49वें ओवर में जहीर खान को और 50वें ओवर की पहली गेंद पर मुनाफ पटेल को गँवाया और टीम पूरे 50 ओवर नहीं खेल पाई।

भारत एक समय 42वें ओवर में तीन विकेट पर 218 रन बनाकर बड़े स्कोर की तरफ बढ़त दिखाई दे रहा था लेकिन जो काम दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ पिछले मैच में हुआ था लगभग वही काम इस मैच में भी हो गया।

बांग्लादेश के खिलाफ उद्घाटन मैच में भारत ने हालाँकि 370 रन का विशाल स्कोर खड़ा किया था। उस मैच में 35वें ओवर से लिए गए बल्लेबाजी पावरप्ले में भारतीय बल्लेबाज 48 रन जोड़ पाए थे। उस दौरान वीरेन्द्र सहवाग अपनी पूरी रौ में क्रीज पर थे और उन्हीं के प्रहारों के कारण भारत इस पावरप्ले में अच्छी रनगति निकाल पाया था।

आयरलैंड और हॉलैंड के खिलाफ मैचों में बल्लेबाजी पावरप्ले की ज्यादा अहमियत नहीं बन पाई थी क्योंकि इसके शुरू होने के कुछ देर बाद ही भारत दोनों मैच जीत गया था1 भारत दस ओवर के शुरुआती गेंदबाजी पावरप्ले और फिर पाँच ओवर के एक और गेंदबाजी पावरप्ले में तो अच्छी स्कोरिंग कर रहा है लेकिन बल्लेबाजी पावरप्ले में उसका मध्यक्रम लड़खड़ा जाता है।

बल्लेबाज यह नहीं समझ पाते कि उन्हें गेंदों को उठाकर मारना है या फिर गैप निकालना है1 इस असमंजस में भारत के मध्यक्रम के विराट कोहली, युवराज सिंह, कप्तान महेन्द्र सिंह धोनी और यूसुफ पठान जैसे दिग्गज बल्लेबाज अपने विकेट गँवा रहे हैं। युवराज ने हालाँकि आयरलैंड और हॉलैंड के खिलाफ मैच विजयी अर्द्धशतक बनाए थे और बल्लेबाजी पावरप्ले शुरू होने तक वह भारत को जीत के नजदीक पहुँचा चुके थे।

युवराज वेस्टइंडीज के खिलाफ 113 रन बनाकर बल्लेबाजी पावर प्ले शुरू होने से पहले के आखिरी ओवर की अंतिम गेंद पर आउट हो गए थे।

भारत को यदि अपनी बल्लेबाजी समस्याओं से पार पाना है तो उसे बल्लेबाजी पावरप्ले की समस्या से भी पार पाना होगा। वरना नॉकआउट क्वार्टर फाइनल में भारत के लिए परेशानी खड़ी हो जाएगी। (वार्ता)