सबरीमाला जाने के लिए केरल पहुंचीं तृप्ति देसाई, हवाई अड्डे पर प्रदर्शनकारियों ने घेरा
कोच्चि। महिला अधिकार कार्यकर्ता तृप्ति देसाई सबरीमाला मंदिर जाने के लिए शुक्रवार तड़के यहां अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पहुंच गईं लेकिन भगवान अयप्पा मंदिर में माहवारी आयु वर्ग वाली महिलाओं के प्रवेश का विरोध कर रहे श्रद्धालुओं के प्रदर्शन के कारण वे घरेलू टर्मिनल से बाहर नहीं आ सकीं।
प्रदर्शनकारियों ने कहा कि देसाई और उनके साथियों को हवाई अड्डे से बाहर नहीं आने दिया जाएगा जिसके बाद वहां पर तनाव उत्पन्न हो गया। देसाई पुणे से तड़के करीब चार बजकर 40 मिनट पर यहां पहुंचीं। उच्चतम न्यायालय के आदेश के बाद मंदिर शुक्रवार शाम को तीसरी बार खुलेगा।
शीर्ष अदालत ने 28 सितंबर के अपने आदेश में भगवान अयप्पा मंदिर में सभी आयु वर्ग की महिलाओं को प्रवेश की अनुमति दे दी थी लेकिन अभी तक कोई महिला दर्शन नहीं कर सकी। हवाई अड्डे पर प्रदर्शन कर रहे स्थानीय भाजपा नेताओं ने कहा कि श्रद्धालु देसाई और उनके साथ आए दल को हवाई अड्डे से बाहर निकलकर सबरीमाला मंदिर नहीं जाने देंगे। देसाई के साथ कथित तौर पर उनके छह साथी भी हैं।
उन्होंने आरोप लगाया कि देसाई और उनकी टीम यहां दशकों से चल रही मंदिर की परंपरा का उल्लंघन करने आई हैं। उन्होंने कहा, वे यहां दर्शन करने नहीं बल्कि शनिवार से शुरू हो रही शांतिपूर्ण सबरीमाला तीर्थयात्रा में बाधा डालने आई हैं। महिलाओं और भाजपा कार्यकर्ताओं समेत अयप्पा श्रद्धालु बड़ी संख्या में हवाई अड्डे के बाहर एकत्रित हुए और उन्होंने अयप्पा के मंत्रोच्चार के साथ प्रदर्शन किया।
बड़ी संख्या में पुलिसकर्मी हालात को नियंत्रण में करने के लिए हवाई अड्डे पर पहुंचे। पुलिस अधिकारियों ने देसाई और प्रदर्शनकारियों के साथ चर्चा की लेकिन दोनों पक्ष अपनी बात पर अड़े रहे। फोन पर मीडिया से बातचीत में देसाई ने कहा कि वह भगवान अयप्पा मंदिर में दर्शन के बिना महाराष्ट्र वापस नहीं जाएंगी।
हवाई अड्डे पर मौजूद टैक्सी चालकों ने कहा कि वह देसाई तथा उनकी टीम को हवाई अड्डे से बाहर नहीं ले जाएंगे। स्थिति से निपटने के लिए बड़ी संख्या में पुलिसकर्मी हवाई अड्डे के घरेलू टर्मिनल पर मौजूद रहे। भगवान अयप्पा मंदिर शनिवार को दो महीने तक चलने वाली पूजा के लिए फिर से खुलेगा।
शनि शिंगणापुर मंदिर, हाजी अली दरगाह, महालक्ष्मी मंदिर और त्र्यम्बकेश्वर शिव मंदिर समेत कई धार्मिक स्थानों पर महिलाओं को प्रवेश देने के अभियान का नेतृत्व करने वाली देसाई ने केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन को ईमेल लिखकर सुरक्षा मांगी थी क्योंकि उन्हें मंदिर जाने के दौरान हमले का डर था। उन्होंने कहा, हम सबरीमाला मंदिर में दर्शन किए बिना महाराष्ट्र नहीं लौटेंगे। हमें सरकार पर भरोसा है कि वह हमें सुरक्षा मुहैया कराएगी। (भाषा)