बड़ी सफलता, जम्मू-कश्मीर में इस साल 100 आतंकवादी मार गिराए
जम्मू। सुरक्षाबलों ने सोपोर में 3 और आतंकियों को ढेर कर दिया है। इसके साथ ही इस साल अभी तक 100 से ज्यादा आतंकियों को सुरक्षाबलों ने ठोक डाला है। हालांकि इन आतंकियों को मारने की कीमत सुरक्षाबलों को 21 जवानों की शहादत देकर चुकानी पड़ी है। करीब 18 नागरिकों की जान भी इस अवधि में गई है।
सोपोर में मंगलवार तड़के भारतीय सुरक्षा बल और आतंकियों के बीच मुठभेड़ हुई, जिसमें तीन आतंकियों को ढेर कर दिया गया। दोनों ओर से करीब 6 घंटों तक गोलीबारी का सिलसिला जारी है। कानून व्यवस्था को बनाए रखने के लिए पुलिस प्रशासन ने इलाके में इंटरनेट सेवा बंद कर दी गई थी।
सोपोर मुठभेड़ में मारे गए आतंकियों की पहचान शोपियां निवासी फैयाज अहमद थोकर के पुत्र फैसल फैयाज, कुपवाड़ा निवासी अब्दुल अहमद शेख के पुत्र गुलाम मुस्तफा शेख और शोपियां निवासी अब्दुल मजीद गनी के पुत्र रमीज गनी के रूप में हुई है।
पुलिस रिकॉर्ड के अनुसार मारे गए आतंकवादी सुरक्षा प्रतिष्ठानों पर हमले और नागरिकों पर अत्याचार सहित कई आतंकी अपराध के मामलों में शामिल समूहों का हिस्सा थे। मुठभेड़ स्थल से आपत्तिजनक सामग्री, हथियार (एक एके 47 राइफल, दो पिस्तौल) और गोला-बारूद सहित बरामद किया गया।
पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार मंगलवार सुबह विश्वासनीय सूत्रों से मिली सूचना के आधार पर एसओजी, सेना और सीआरपीएफ के संयुक्त दल ने सोपोर के पीठसीर इलाके में तलाशी अभियान शुरू किया था। इलाके में छिपे आतंकवादियों ने जब सुरक्षाबलों को अपने नजदीक आते देखा तो उन्होंने उन पर गोलीबारी शुरू कर दी। जवाबी फायरिंग से पहले सुरक्षाबलों ने आतंकवादियों को आत्मसमर्पण करने को कहा परंतु उन्होंने हथियार डालने से इंकार कर दिया।
बार-बार कहने पर भी जब आतंकवादी हथियार डालने को तैयार नहीं हुए तो सुरक्षाबलों ने जवाबी फायरिंग में तीनों आतंकियों को ढेर कर दिया गया। शरारती तत्व मुठभेड़ में बाधा न डाले इसलिए सुरक्षाबलों ने एहतियात के तौर पर इलाके में इंटरनेट सेवा बंद की गई थी। यही नहीं आम लोगों को मुठभेड़ स्थल से दूर रखने के लिए अतिरिक्त सुरक्षाबलों को भी इलाके में बुलाया गया था।