मध्यप्रदेश में पटवारी भर्ती परीक्षा पर सियासी बवाल, कांग्रेस ने की CBI जांच की मांग,चयनित उम्मीदवार उतरे सड़क पर
भोपाल। मध्यप्रदेश में पटवारी भर्ती परीक्षा चुनावी साल में अब सियासी मुद्दा बनता दिखा रहा है। पटवारी भर्ती परीक्षा में गड़बडी के आरोप को लेकर कांग्रेस शिवराज सरकार पर हमलावर हो गई है। वहीं भर्ती परीक्षा रोके जाने के सरकार के फैसले को लेकर अब चयनित उम्मीदवार भी सड़क पर उतर आए है। वहीं कांग्रेस ने पूरे मामले की सीबीआई जांच की मांग की है।
चयनित उम्मीदवार भी अब सड़क पर-पटवारी भर्ती परीक्षा पर रोक लगाने के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के फैसले के खिलाफ आज चयनित उम्मीदवार सड़क पर उतर आए। पटवारी भर्ती परीक्षा में चयनित उम्मीदवार आज गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा के बंगले पर पहुंचे और भर्ती परीक्षा पर रोक लगाने का विरोध जताया।
चयनित उम्मीदवारों ने आरोप लगाया कि वह काफी मेहनत कर परीक्षा को पास किया लेकिन अब कुछ चुनिंदा लोगों की वजह और इंदौर की कुछ कोचिंग संस्थाओं की मिलीभगत से पूरी भर्ती प्रक्रिया खटाई में पड़ गई है। पटवारी भर्ती परीक्षा में चयनित रघुवीर सिंह राजपूत ने कहा कि भर्ती प्रक्रिया को रोका नहीं जाए। भर्ती परीक्षा में जिन सात लोगों पर संदेह किया जा रहा है उनको ही रोका जाए। भर्ती प्रकिया रोके जाने से चयनित उम्मीदवार काफी आहत है।
सरकार पर हमलावर कांग्रेस-चुनावी साल में पटवारी भर्ती परीक्षा की गड़बड़ी की शिकायत को लेकर कांग्रेस शिवराज सरकार पर हमलावर हो गई है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने ट्वीट कर लिखा कि मध्य प्रदेश में भाजपा ने युवाओं से बस चोरी की है! पटवारी परीक्षा घोटाला, व्यापम घोटाला 2.0 है, जो प्रदेश के लाखों युवाओं के भविष्य के साथ खिलवाड़ है। पहले, भाजपा ने जनता की चुनी हुई सरकार चोरी की, अब विद्यार्थियों से उनका हक़, युवाओं से रोज़गार चोरी कर रही है।
वहीं गड़बड़ी के आरोपों के बाद सरकार के पटवारी भर्ती परीक्षा को रोकने के फैसले के बाद प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने ट्वीट कर लिखा कि “कर्मचारी चयन मंडल द्वारा आयोजित समूह-2, उप समूह-4 एवं पटवारी भर्ती परीक्षा के परिणाम में धांधली के समाचार सामने आने के बाद मुख्यमंत्री ने नियुक्तियां रोकने का फैसला कर, यह स्वीकार कर लिया है कि इन परीक्षाओं में बड़े पैमाने पर धांधली और घोटाला हुआ है।मैं मुख्यमंत्री से स्पष्ट शब्दों में कहना चाहता हूं कि कोई भी फैसला ऐसा होना चाहिए जिसमें अभ्यर्थियों के साथ अन्याय नहीं हो। नियुक्तियां रोकना एक बात है और असली दोषियों को पकड़ना दूसरी बात है। व्यापम और नर्सिंग घोटाले में भी सरकार ने इससे मिलती-जुलती कार्यवाही करके मामले पर पर्दा डालने की कोशिश की थी और सत्ताधारी दल से जुड़े मुख्य साजिशकर्ताओं को बचाया था। मध्य प्रदेश की जनता जानना चाहती है कि पटवारी भर्ती घोटाला के मुख्य कर्ता-धर्ता कौन हैं और उनका भारतीय जनता पार्टी से क्या संबंध है? और अगर संबंध है तो वह कानून के शिकंजे में कब आएंगे?”
सरकार की सफाई-पटवारी भर्ती परीक्षा को कांग्रेस की ओर से सियासी मुद्दा बनाने को लेकर सरकार ने हमला बोला है। सरकार के प्रवक्ता नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि पटवारी भर्ती परीक्षा को लेकर कमलनाथ डर्टी पॉलिटिक्स कर रहे है। प्रदेश में जनाधार खो चुकी कांग्रेस गलत तथ्यों के आधार पर नौजवानों में भ्रम पैदा करने की कोशिश कर ही है। उन्होंने कहा कि पहले राहुल गांधी और अब प्रियंका गांधी से कमलनाथ ने गलत ट्वीट कर दिया है।