रांची में 3 R's सलामी बल्लेबाज रोहित शर्मा, केएल राहुल के साथ कोच राहुल द्रविड़ की रणनीति के बलबूते पर टीम इंडिया ने न्यूजीलैंड से टी-20 सीरीज जीत ली।
टीम इंडिया को टी-20 विश्वकप में न्यूजीलैंड से हार मिली थी जिससे टीम इंडिया विश्वकप में बेदखल हो गई थी। यह टी-20 सीरीज जीत उस हार पर एक मरहम के तौर पर काम करेगी।
इस टी-20 सीरीज में भारत एक अलग टीम लगी है और उसका सबसे बड़ा श्रेय उसके सलामी बल्लेबाजों को मिलना चाहिए। अगर यह कहा जाए कि 3 आर की जोड़ी ने भारत के लिए टी-20 सीरीज झोली में डाल दी है तो अतिशियोक्ति नहीं होगी। नजर डाल लेते हैं कैसे इस तिकड़ी ने भारत को टी-20 सीरीज जिताई।
केएल राहुल- टी-20 विश्वकप में न्यूजीलैंड के खिलाफ सस्ते में आउट होने के बाद केएल राहुल एक अलग बल्लेबाज दिखे हैं। उन्होंने पिछले 5 टी-20 मैचों में से 4 में अर्धशतक बनाए हैं। इस मैच में उन्होंने लेग साइ़ड में एक गेंद खेली जो सीधे फील्डर के हाथ में गई
इसके बाद भारतीय टी20 टीम के उप कप्तान नियुक्त किये गये राहुल ने अफगानिस्तान, स्कॉटलैंड और नामीबिया के खिलाफ क्रमश: 69, 50 और नाबाद 54 रन बनाये थे। जयपुर में खेले गए पिछले मैच में वह सैंटनर के हाथों जल्द आउट हो गए।
राहुल ने मैच में थर्डमैन पर चौका लगाकर अपनी शुरुआत की और छक्का मारकर अपना 16वां अर्धशतक पूरा किया राहुल ने 49 गेंदों पर 65 रन में 6 चौके और 2 छक्के लगाए।
रोहित शर्मा- रोहित शर्मा को जब से कप्तानी मिली है तब से वह अलग बल्लेबाज दिख रहे हैं। हालांकि टी-20 विश्वकप के अंतिम 3 मैचों में भी उन्होंने काफी तेजी से रन बनाए थे। रोहित शर्मा इस सीरीज के पहले मैच में अपने अर्धशतक से चूक गए थे। लेकिन रांची के दूसरे टी-20 मैच में उन्होंने अर्धशतकीय पारी खेली।
रोहित ने छक्का मारकर अपना 25वां अर्धशतक पूरा किया। रोहित ने 36 गेंदों पर 55 रन में एक चौका और पांच छक्के लगाए। रोहित शर्मा इस सीरीज में सर्वाधिक रन बनाने वाले बल्लेबाज बन गए हैं। अंतिम टी-20 में वह और बड़ी पारी खेलकर यह स्थान बरकरार रखना चाहेंगे।
राहुल द्रविड़- राहुल द्रविड़ की टीम इंडिया की कोचिंग एक योजना के तहत दी गई थी। उनका अनुशासन, युवा खिलाड़ियों से प्रेम, क्रिकेट की अबूझ समझ के चलते उनको भारतीय टीम का कोच नियुक्त किया गया।
टीम इंडिया ने लगातार 2 टी-20 जीतकर यह तो सुनिश्चित कर दिया है कि राहुल द्रविड़ के कोचिंग के सफर का आगाज अच्छा हो। अंजाम अगले साल पता चलेगा जब टी-20 विश्वकप में भारत ऑस्ट्रेलिया के मैदान पर उतरेगी।
इस टी-20 विश्वकप में दोहराएगी गलतियों को सुधारने के लिए ही द्रविड़ को कोच की कमान सौंपी गई थी। पिच को जांचने से लेकर डगआउट में चिंतन से लेकर राहुल द्रविड़ गेम में पूरी तरह रचे बसे दिखे। उनकी यही मेहनत रही जिसके कारण टीम इंडिया उनकी कोचिंग में पहली सीरीज जीत पायी।
वैसे तो राहुल द्रविड़ के कार्यकाल से पहले ही उनकी कोचिंग में टीम श्रीलंका से एक टी-20 सीरीज हार चुकी है लेकिन उसमें आधे से ज्यादा खिलाड़ी कोरोना संक्रमित हो गए थे। वह हार की एक बड़ी वजह बना था। वहीं उस समय राहुल द्रविड़ स्थायी कोच भी नहीं थे सिर्फ एक दौरे के लिए उनको टीम के साथ भेजा गया था।