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Written By नृपेंद्र गुप्ता
Last Updated : शुक्रवार, 28 जनवरी 2022 (15:21 IST)

कोरोना काल का दूसरा बजट, सबकी अपनी-अपनी उम्मीदें, किसकी भरेगी झोली?

कोरोना काल का दूसरा बजट, सबकी अपनी-अपनी उम्मीदें, किसकी भरेगी झोली? - Budget expectation in corona time
नई दिल्ली। मोदी सरकार 1 फरवरी को संसद में आम बजट पेश करने जा रही है। सरकार पर एक ओर लोक लुभावन योजनाओं को जारी रखने का दबाव है तो दूसरी तरफ टैक्स की दरों में कमी करने की मांग की जा रही है। कोरोना काल में पेश हो रहे इस बजट से आम आदमी को बड़ी उम्मीदें हैं। चुनाव काल में पेश होने की वजह से माना जा रहा है कि इसमें गरीबों और मध्यमवर्गीय लोगों के बड़ी घोषणाएं की जा सकती है। आइए जानते हैं लोगों को बजट से क्या उम्मीदें हैं...
 
प्रोत्साहन पैकेज : पिछले वित्त वर्ष केंद्र सरकार ने कोरोना से प्रभावित अर्थव्यवस्था को नया जीवन देने के लिए कई प्रोत्साहन पैकेजों की घोषणा की थी। इस बार भी उद्योग जगत को विशेष राहत पैकेज की उम्मीद कर रहा है। 
 
नौकरीपेशा वर्ग : लोगों को उम्मीद है कि कोरोना काल के दूसरे बजट में भी मोदी सरकार प्रत्यक्ष कर में कोई वृद्धि नहीं करेगी। वित्त मंत्री जब अपना पिटारा खोलेगी तो इनकम टैक्स स्लैब बढ़कर 3 लाख तक हो जाएगा। साथ ही 80 सी और 80 डी के तहत भी लोगों को राहत मिलेगी।

क्या है किसानों की उम्मीद : किसानों को भी इस बजट से बड़ी उम्मीदें हैं। राष्ट्रवादी युवा किसान संगठन के मध्य प्रदेश सचिव संजय शर्मा ने कहा कि बजट का सबसे ज्यादा फायदा किसानों को कृषि को मिलना चाहिए। बजट में ऐसा प्रावधान हो कि किसानों को खाद सही समय पर मिल जाए। उन्होंने कहा कि किसानों को सब्सिडी नहीं चाहिए आप उसकी फसल का सही दाम दीजिए।   
 
महिलाएं : महिलाओं को उज्जवला जैसी योजनाओं में ज्यादा आवंटन के साथ ही टैक्स पार्ट में भी छूट की उम्मीद है। महंगाई जैसे मोर्चे पर भी उन्हें ही सबसे ज्यादा जुझना होता है अत: वे प्रत्यक्ष करों में भी राहत की उम्मीद कर रही है।
 
योजनाओं के लिए बड़ा आवंटन : पिछले बजट की तरह ही इस बार भी अर्थव्यवस्था को मजबूती देने वाली योजनाओं के लिए बड़े आवंटन की उम्मीद है। मनरेगा के साथ ही स्वास्‍थ्य और शिक्षा जगत के लिए भी पिछले साल की तरह ज्यादा पैसा आवंटित किया जा सकता है। 
 
महंगाई और बेरोजगारी : लोग चाहते हैं कि बजट के माध्यम से सरकार कुछ ऐसे कदम उठाए जिससे महंगाई पर लगाम कसी जा सके।  उम्मीद है कि बेरोजगारी की विकराल समस्या से निपटने के लिए कोई बड़ी या विशेष योजना शुरू करेगी। हालांकि पिछले वर्ष के बजट में महंगाई और बेरोजगारी के मुद्दे पीछे छुट गए थे। कोरोना महामारी के चलते कई लोगों के रोजगार छिन गया तो कई की आय बिल्कुल कम हो गई। ऐसे में लोग बजट 2022 की ओर उम्मीदों से देख रहे हैं।
 
चुनावी राज्य : 2021 के बजट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने तमिलनाडु, केरल, पश्चिम बंगाल तथा असम में राष्ट्रीय राजमार्गों को बढ़ावा देने के लिए विशेष प्रावधान किए थे। इस बार उत्तरप्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, गोवा और मणिपुर के लोग भी कुछ इसी तरह की उम्मीद कर रहे हैं। 
 
फिनटेक : मास्टर कार्ड के डिविजन प्रेसिडेंट निखिल साहनी ने कहा कि आगामी बजट में, हम व्यापारियों और उपभोक्ताओं दोनों के लिए सुरक्षा और सुविधा पर ध्यान देने के साथ फिनटेक में नवाचारों को बढ़ावा देने, डिजिटल बुनियादी ढांचे को सक्षम करने और समाधानों को प्रोत्साहित करने के माध्यम से नागरिकों पर डिजिटल इंडिया के प्रभाव को और तेज करने के लिए हस्तक्षेप की आशा करते हैं। नए उत्पादों को पेश करने और विशेष रूप से ग्रामीण भारत में कम सेवा वाले क्षेत्रों में विविधता लाने के लिए अनुसंधान एवं विकास में निवेश को प्रोत्साहित किया जा सकता है। स्टार्ट-अप में प्रौद्योगिकी कौशल-निर्माण की पहल के लिए समर्थन एक व्यवहार्य फिनटेक पारिस्थितिकी तंत्र बनाने में एक लंबा रास्ता तय करेगा।
 
यह सुनिश्चित करने के लिए कि फिनटेक और डिजिटल भुगतान का लाभ ग्रामीण भारत में ग्राहकों तक पहुंचे, सरकार डिजिटल बुनियादी ढांचे के विस्तार के लिए पहल शुरू कर सकती है। इससे भुगतान टचप्वाइंट, दूरदराज के क्षेत्रों में इंटरनेट कनेक्टिविटी, और व्यक्तियों और व्यवसायों के लिए डिजिटल पारिस्थितिकी तंत्र सुरक्षित होगा।