गुरुवार, 14 नवंबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. खेल-संसार
  2. अन्य खेल
  3. समाचार
  4. Neeraj Chopra’s don’t try anything new message worked wonders for Paralympics star Sumit Antil
Written By WD Sports Desk
Last Updated : बुधवार, 4 सितम्बर 2024 (12:05 IST)

गोल्ड जीतकर सुमित अंतिल ने बताया नीरज चोपड़ा का दिया हुआ मंत्र

गोल्ड जीतकर सुमित अंतिल ने बताया नीरज चोपड़ा का दिया हुआ मंत्र - Neeraj Chopra’s don’t try anything new message worked wonders for Paralympics star Sumit Antil
Paris Paralympics 2024 Sumit Antil : प्रतिस्पर्धा के दौरान कुछ भी नया न करने के नीरज चोपड़ा के संदेश ने सुमित अंतिल के लिए अद्भुत तरीके से काम किया, जिन्होंने यहां पैरालंपिक खेलों में नए रिकॉर्ड के साथ अपने स्वर्ण पदक का बचाव किया।
 
उन्होंने पैरालम्पिक खेलों में 70 . 59 मीटर का नया रिकॉर्ड भी बनाया। वह पैरालंपिक खेलों में शीर्ष पदक का बचाव करने वाले पहले भारतीय पुरुष खिलाड़ी बन गए। महिला वर्ग में हालांकि निशानेबाज अवनि लेखरा (Avani Lekhara) ने इस कारनामे को किया है।
 
हरियाणा के सोनीपत के 26 साल के इन विश्व रिकॉर्डधारी भाला फेंक खिलाड़ी ने 2015 में मोटरसाईकिल दुर्घटना में अपना एक पैर गंवा दिया था। उन्होंने तीन साल पहले टोक्यो पैरालंपिक में 68.55 मीटर के पैरालंपिक रिकॉर्ड के साथ स्वर्ण पदक जीता था। उनका विश्व रिकॉर्ड 73.29 मीटर का है।
 
अंतिल ने कहा कि वह और नीरज महीने में कम से कम एक बार एक-दूसरे से बातचीत करते हैं। दोनों खिलाड़ी खेल में सुधार करने के बारे में चर्चा करते है।
 
उन्होंने कहा, ‘‘मैंने पेरिस खेलों से पहले नीरज भाई (Neeraj Chopra) से व्यक्तिगत रूप से बात नहीं की थी। मुझे किसी (अंतिल के एथलीट मैनेजर) के माध्यम से नीरज भाई का संदेश मिला। उन्होंने कहा कि (पेरिस में) बहुत अच्छा माहौल है और वहां अच्छा माहौल है लेकिन कुछ नया करने की कोशिश मत करना।’’
 
अंतिल ने मंगलवार को एक वर्चुअल मीडिया बातचीत के दौरान कहा, ‘‘मैंने उनकी सलाह मान ली और पेरिस पैरालंपिक में मेरे लिए वास्तव में एक अच्छा अनुभव था।’’
 
उन्होंने कहा, ‘‘मैं और नीरज भाई एक-दूसरे के संपर्क में रहते हैं, पंद्रह दिन या महीने में एक बार उनसे बातचीत होती रहती है। जब भी हम एक-दूसरे से बात करते हैं, तो यह हमारे खेल के बारे में होता है, जैसे हमें अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते रहना चाहिए और देश का नाम रोशन करना चाहिए।’’


अंतिल से जब पूछा गया कि नीरज ने उन्हें इस तरह की सलाह क्यों दी तो उन्होंने कहा, ‘‘इतने बड़े स्तर पर खिलाड़ी घबराहट महसूस कर सकते हैं और तकनीकों पर ध्यान केंद्रित रखना मुश्किल होता है। उसके (नीरज) मन में कुछ तो चल रहा होगा और वह नहीं चाहता कि मैं उन चीजों को झेलूं।’’
 
उन्होंने कहा, ‘‘कभी-कभी ऐसा होता है कि आपने अभ्यास के दौरान जिस तकनीक पर काम किया है, वह (प्रतियोगिता के दौरान) सामने नहीं आती है। भाला फेंक एक ऐसी प्रतियोगिता है जिसमें तकनीक बहुत महत्वपूर्ण है।’’
 
अंतिल 2021 में इंडियन ग्रां प्री में सामान्य खिलाड़ियों के साथ प्रतिस्पर्धा कर चुके हैं जिसमें नीरज ने भी हिस्सा लिया था।  उन्होंने उस स्पर्धा में 66.43 मीटर के साथ सातवां स्थान हासिल किया था जबकि नीरज ने 88.07 मीटर के साथ राष्ट्रीय रिकॉर्ड कायम किया था।
 
अंतिल ने कहा, ‘‘हां, मैं वहां (2021 में पटियाला) यह जानने के लिए गया था कि पैरा एथलीटों और सक्षम एथलीटों के बीच क्या अंतर है, पैरा एथलीट बेहतर प्रदर्शन क्यों नहीं कर पा रहे हैं। वहां मैंने 66.43 मीटर का पैरा विश्व रिकॉर्ड बनाया था।’’
 
उन्होंने कहा, ‘‘उस समय और अब के प्रदर्शन में बहुत अंतर है। उस समय, मैंने कभी-कभार 66 मीटर का थ्रो किया था, लेकिन अब मैं लगातार 69 मीटर, 70 मीटर और 71 मीटर का थ्रो कर रहा हूं। मैं अगले एक-दो साल में 75 मीटर से आगे निकलने की कोशिश कर रहा हूं।’’

अंतिल का लक्ष्य 2028 लॉस एंजिलिस पैरालंपिक में स्वर्ण पदक की हैट्रिक पूरा करना है।
 
विश्व पैरा एथलेटिक्स चैम्पियनशिप के 2023 और 2024 के चैम्पियन ने कहा, ‘‘ एक बार शीर्ष पर पहुंचना आसान है लेकिन शीर्ष पर बने रहना बहुत कठिन है। लेकिन मैं अगले साल भारत में होने वाली विश्व पैरा एथलेटिक्स चैंपियनशिप जैसी शीर्ष प्रतियोगिताओं पर ध्यान केंद्रित कर रहा हूं। अभी मेरा ध्यान उसी पर है।’’
 
उन्होंने कहा, ‘‘आम तौर पर हमारे खेल में खिलाड़ी 31-32 साल की उम्र में चरम पर पहुंचते हैं। मैंने तोक्यो और पेरिस में लगातार स्वर्ण पदक जीते हैं और मेरा प्रयास लॉस एंजिलिस में हैट्रिक बनाने का होगा।’’
 
उन्होंने कहा, ‘‘ मेरा लक्ष्य भविष्य में 80 मीटर की दूरी को छूना है। मैं उस दूरी को पार करने का अनुभव लेना चाहता हूं।’’
 
एफ64 वर्ग में वे खिलाड़ी होते हैं जिनके पैरों में विकार होता है । वे या तो कृत्रिम पैर के साथ खेलते हैं या उनके पैरों की लंबाई में फर्क होता है।  (भाषा)
ये भी पढ़ें
BCCI सिलेक्शन कमिटी में बदलाव, इस पूर्व विकेटकीपर को मिली बड़ी जिम्मेदारी