पर्णशाला का लोकार्पण 12 सितंबर को
केरल के तिवनंतपुरम में स्थित शांतिगिरि आश्रम में नवज्योतिश्री करणकरगुर की पर्णशाला आगामी 12 सितंबर को आराधना के लिए श्रद्धालुओं को समर्पित की जाएगी। दिल्ली संतगिरि आश्रम के स्वामी प्रणव सुधन तपस्वी ने बताया कि पर्णशाला का निर्माण वर्ष 2001 में शुरू किया गया था। उन्होंने बताया कि पर्णशाला के निर्माण के लिए दुनिया के कई भागों से लाकर पत्थर, लकड़ी आदि आवश्यक सामग्री लगाई गई। पर्णशाला को कमल की आकृति प्रदान कर इसे धर्मनिरपेक्ष, आध्यात्मिकता एवं विश्व शांति की प्रतीक बनाया है। उन्होंने बताया कि इसके उपरी हिस्से पर राजस्थान के विश्व प्रसिद्ध मकराना संगमरमर के सफेद पत्थर से कमल की आकृति बनाई गई है। इस सफेद कमल की ऊपरी 12 पखुंड़ियो को राशि, बीच की नीचे की तरफ झुकी हुई नौ पखुंड़ियाँ नवग्रह तथा नीचे की गोलाकर आकृति में स्थित खंभों को 27 नक्षत्र के रूप में प्रदर्शित किया गया हैं। ऊपर की 12 पंखुड़ियों की ऊँचाई 41 फुट रखी गई है। उन्होंने बताया कि यह पर्णशाला 91 फुट ऊँची है, जिसका व्यास 84 फुट एवं आंतरिक क्षेत्र का व्यास 64 फुट का है। इसके अलावा परिक्रमा पथ बनाया गया है। स्वामी ने बताया कि इसके लिए आश्रम में एक भव्य समारोह का आयोजन किया जाएगा, जो करीब दस दिन चलेगा।