गुवाहाटी। असम में शनिवार को भी बाढ़ की स्थिति गंभीर बनी रही और इस प्राकृतिक आपदा में जान गंवाने वाले लोगों की संख्या बढ़कर 118 हो गई है। कछार जिले का सिलचर शहर 6ठे दिन भी जलमग्न रहा। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
अधिकारियों ने बताया कि पिछले 24 घंटों में बाढ़ और भूस्खलन के कारण 10 लोगों की मौत हुई है जिनमें बारपेटा, धुबरी, करीमगंज और उदलगुरी जिलों के 2-2 व्यक्ति और कछार तथा मोरीगांव के 1-1 व्यक्ति शामिल हैं। असम राज्य प्रबंधन आपदा प्राधिकरण (एएसडीएमए) द्वारा जारी बुलेटिन के अनुसार 28 जिलों में बाढ़ प्रभावित लोगों की संख्या अब घटकर 33.03 लाख रह गई है जबकि शुक्रवार तक 30 जिलों में यह आंकड़ा 45.34 लाख था।
अधिकारियों ने कहा कि कुछ जिलों में स्थिति में मामूली सुधार हुआ है। नदियों का जलस्तर कुछ हद तक कम हुआ है। हालांकि धुबरी में ब्रह्मपुत्र और नगांव में कोपिली नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। उपायुक्त कीर्ति जल्ली ने कहा कि कछार जिला प्रशासन बीमार लोगों को अस्पताल पहुंचाने को प्राथमिकता देने के साथ सिलचर में बचाव अभियान चला रहा है।
उन्होंने कहा कि वायुसेना के हेलीकॉप्टर की मदद से भोजन के पैकेट, पीने के पानी की बोतलें और अन्य जरूरी चीजें शहर में वितरित की जा रही हैं तथा यह कार्य तब तक जारी रहेगा, जब तक कि स्थिति में सुधार नहीं हो जाता। बाढ़ प्रभावित लोगों को राहत सामग्री उपलब्ध कराने के साथ-साथ बाढ़ की स्थिति पर नजर रखने के लिए सिलचर में 2 ड्रोन भी तैनात किए गए हैं।
सिलचर में ईटानगर और भुवनेश्वर से पहुंचे 207 कर्मियों के साथ राष्ट्रीय आपदामोचन बल (एनडीआरएफ) के 8 दलों तथा 120 कर्मियों वाली एक सैन्य टुकड़ी तथा दीमापुर से लाई गईं 9 नौकाओं को तैनात किया गया है। अधिकारियों ने कहा कि सिलचर में लगभग 3 लाख लोग भोजन, स्वच्छ पेयजल और दवाओं की भारी कमी से जूझ रहे हैं।
एएसडीएमए बुलेटिन के मुताबिक राज्य में सबसे अधिक बाढ़ प्रभावित जिला बारपेटा है, जहां 8,76,842 लोग प्रभवित हुए हैं। इसके बाद नगांव (5,08,475), कामरूप (4,01,512) और धुबरी में 3,99,945 लोग प्रभावित हुए हैं। इसमें कहा गया है कि बाढ़ से 93 राजस्व मंडल और 3,510 गांव प्रभावित हुए हैं, जबकि 2,65,788 लोगों ने 717 राहत शिविरों में शरण ली है। शिविरों में शरण नहीं लेने वाले बाढ़ प्रभावित लोगों के बीच 409 राहत केंद्रों से राहत सामग्री वितरित की गई।
एएसडीएमए ने कहा कि पिछले 24 घंटों के दौरान कुल 312 मकान क्षतिग्रस्त हुए हैं। बुलेटिन में कहा गया है कि बक्सा, विश्वनाथ, बोंगाईगांव, चिरांग, डिब्रूगढ़, दरांग, गोलाघाट, हैलाकांडी और कामरूप सहित कई स्थानों से बड़े पैमाने पर भूस्खलन की सूचना मिली है। इस बीच रिलायंस फाउंडेशन के एक प्रवक्ता ने कहा कि राज्य में बाढ़ आने के बाद से वह असम सरकार को राहत सहायता प्रदान कर रहा है।
प्रवक्ता ने बताया कि रिलायंस फाउंडेशन की फील्ड टीम राज्य सरकार के विभिन्न विभागों को सहयोग कर रही है। रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड के प्रमुख मुकेश अंबानी और उनके बेटे अनंत अंबानी ने शुक्रवार को राज्य में बाढ़ से प्रभावित लोगों की मदद के लिए मुख्यमंत्री राहत कोष (सीएमआरएफ) में 25 करोड़ रुपए दान दिया था।(फोटो सौजन्य : ट्विटर)