कर्ज माफी के वादे से पलटी सरकार!
विधानसभा चुनाव के दौरान किसानों से किए गए कर्ज माफी के वादे से सरकार पलटती नजर आ रही है। प्रदेश के सहकारिता मंत्री गौरीशंकर बिसेन ने कहा है कि वर्तमान परिस्थितियों में यह संभव नहीं है।उल्लेखनीय है कि भाजपा ने वादा किया था कि यदि राज्य में उसकी सरकार बनी तो किसानों के 50 हजार रुपए तक के कर्ज माफ कर दिए जाएँगे। सहकारिता मंत्री गौरीशंकर बिसेन ने हरदा में बुधवार को पत्रकारों से कहा कि राज्य के मौजूदा वित्तीय हालात को देखते हुए कर्ज माफी का वादा पूरा कर पाना फिलहाल मुमकिन नहीं है। यदि हम वर्तमान परिस्थिति में किसानों का कर्ज माफ करते हैं तो इसका असर प्रदेश की अन्य विकास योजनाओं पर पड़ेगा और उनका काम ठहर जाएगा। बिसेन से उनके बयान का खुलासा चाहा तो उनका कहना था कि चुनावी घोषणा पत्र में किया यह वादा पाँच साल के लिए है, जरूरी नहीं कि इसे तुरंत ही पूरा कर दिया जाए।खजाने की वर्तमान स्थिति को देखते हुए फिलहाल यह संभव नहीं है, लेकिन इसका यह मतलब भी नहीं लगाया जाना चाहिए कि हम अपने वादे से मुकर रहे हैं। किसानों को तीन फीसद ब्याज पर नए कर्ज देने के वादे पर सरकार कायम है।यह पूछने पर कि तीन फीसद की इस दर पर क्या पुराने कर्जदार किसान भी ऋण ले सकते हैं? बिसेन ने कहा कि इस बारे में वे कुछ कहने की स्थिति में नहीं हैं। पार्टी फोरम पर विचार के बाद इस पर मंत्रिपरिषद ही अंतिम फैसला कर सकती है। इससे पहले हरदा में पत्रकारों से चर्चा करते श्री बिसेन ने कहा था कि नोट छापने की मशीन भी केंद्र के पास है और अतिरिक्त वित्त की व्यवस्था भी केंद्र सरकार ही कर सकती है।चूँकि दिल्ली में राजग की सरकार नहीं बनी है इसलिए हम मनमोहन सरकार से उम्मीद करेंगे कि वह प्रदेश के किसानों की कर्ज माफी के मामले में हमारे साथ सकारात्मक रवैया अपनाए।-नईदुनिया