कैट हो गई ऑनलाइन
फायदे हैं तो नुकसान भी
अंतत: कैट अपने पारंपरिक कागज कलम वाली शैली से बाहर आ ही गई। बहुत समय से इस परीक्षा के पैटर्न में जिस परिवर्तन की प्रतीक्षा की जा रही थी आखिर वो हो ही गया। कॉमन एंट्रेंस टेस्ट याने कैट के इस साल से ऑनलाइन होने की खबर स्वागत योग्य निर्णय है। अब कैट एक दिन के बजाय कई टेस्ट चरणों में आयोजित होगी और परीक्षा का पैटर्न जीमेट और जीआरई के समान होगा।अब एमबीए की तैयारी करने वाले अपनी सुविधा से कंप्यूटर आधारित परीक्षा (सीबीटी) का दिन और समय चुन सकते हैं। आईईएलटीएस, टॉफेल, जीआरई, जीमेट जैसी ग्लोबल सीबीटी भारत में पिछले दस सालों से आयोजित की जा रही हैं लेकिन केट को अभी अभी सीबीटी में शामिल किया गया।अब आप साल में एक बार ही कैट दे सकते हैं। यदि आप नियत दिन कैट की परीक्षा नहीं दे पाते हैं तो आपको अगले साल तक इंतजार करना होगा। यदिकंप्यूटर बेज्ड कैट एक से ज्यादा दिन होता है तो विद्यार्थी के पास किसी अन्य दिन परीक्षा देने का विकल्प रहेगा। साथ ही यदि आईआईएम कॉलेज विद्यार्थियों को अनुमति देते हैं तो वे साल में एक से ज्यादा बार कैट की परीक्षा दे सकते हैं। ये हैं ऑनलाइन कैट परीक्षा के फायदे:1.
टेस्ट का समय बदला जा सकता है। इससे ज्यादा से ज्यादा विद्यार्थी परीक्षा दे सकेंगे और प्रतिस्पर्धा भी बढ़ेगी।2.
एक साल इंतजार करने के बजाय जीमेट और अन्य सीबीटी के समान एक साल में दो बार परीक्षा दी जा सकती है लेकिन यह कैट की नीतियों पर निर्भर करेगा।3.
इससे परीक्षा में होने वाले प्रशासनिक खर्च में कमी होगी। इससे समय की बचत होगी क्योंकि मैन्युल जाँच में समय भी ज्यादा लगता है। 4.
सीबीटी से आईआईएम ज्यादा से ज्यादा परीक्षा केंद्र उपलब्ध कराएगी जिसमें छात्रों को परीक्षा देने की अतिरिक्त सुविधा मिलेगी क्योंकि किसी प्रतिभागी की ऑनलाइन परीक्षा पर होने वाला खर्च मैन्युली होने वाली परीक्षा से कम होता है।5.
यदि परीक्षा होने पर प्राप्तांक परीक्षा के तुरंत बाद उपलब्ध हो जाते हैं तो विद्यार्थी अपने प्राप्तांक को ध्यान में रखकर कॉलेज में दाखिले के लिए आवेदन करेंगे।कंप्यूटर आधारित कैट परीक्षा से संबंधित महत्वपूर्ण चुनौतियाँस्कोरिंग: पहले सभी विद्यार्थियों के लिए एक ही परीक्षा आयोजित की जाती थी इसलिए परिणाम तुलनीय होते थे। सीबीटी से विद्यार्थियों को कैट परीक्षा भिन्न प्रश्नों के साथ अलग दिन देनी होगी। अब आईआईएम को यह सुनिश्चित करना होगा किदेशभर में प्रत्येक परीक्षा में पूछे जाने वाले प्रश्नों का स्तर समान हो जिससे अंकों में 1 प्रतिशत का अंतर भी कॉलेज में प्रवेश के लिए महत्वपूर्ण हो।कंप्यूटर में दक्षता: कई विद्यार्थियों के पास स्वयं के कंप्यूटर नहीं होते हैं। सीबीटी में सफल होने के लिए कंप्यूटर पर कार्य करने में दक्ष होना बेहत जरूरी है क्योंकि परीक्षा के लिए दिया जाना वाला समय सीमित होता है और प्रतिभागी को उसी सीमित समय में टेस्ट देना होगा। इससे उन विद्यार्थियों को हानि हो सकती है जिनकी आर्थिक स्थिति कंप्यूटर खरीदने लायक नहीं हैं। जिन छात्रों के घर पर कंप्यूटर नहीं है वे सार्वजनिक या कॉलेज की लायब्रेरी में इंटरनेट पर उपलब्ध परीक्षा का अभ्यास कर सकते हैं।पहुँच: दूर दराज के क्षेत्रों में रहने वाले प्रतिभागियों के लिए कंप्यूटर और इंटरनेट उपलब्ध होना एक समस्या है।परीक्षा का प्रारूप: अब तक कैट की परीक्षा कागज और कलम से दी जाती थी लेकिन यह तरीका कंप्यूटर आधारित परीक्षा के लिए अनुकूल नहीं है क्योंकि कैट की परीक्षा में गणनाओं की जरूरत होती है जो ऑनलाइन परीक्षा में संभव नहीं है इसलिए परीक्षा पत्र तैयार करने वालों को अब इस बात का भी ध्यान रखना होगा।सुरक्षा : इंटरनेट खतरों जैसे ऑनलाइन सॉफ्टवेयर की हैकिंग और मेनिपुलेशन आदि से सुरक्षा का खतरा। इंफ्रास्ट्रक्चर: बड़े पैमाने पर भौतिक अधोसंरचना उपलब्ध करना।