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Written By WD

वसंत पर आधारित चर्चित गीत...

वसंत पंचमी और हिन्दी सिनेमा

Spring Song | वसंत पर आधारित चर्चित गीत...
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भारतीय फिल्मों में कई त्योहारों के मद्देनजर अलग-अलग गी‍त गाए गए हैं। इन गीतों को हमारे गायक, गीतकार और संगीतकारों ने अपनी आवाज, धुन देकर इन्हें इतिहास के सुनहरे पन्नों में दर्ज किया है। इसी परिप्रेक्ष्य में प्रस्तुत है बसंत पर आधारित कुछ चर्चित गीतों की एक झलक :-

केतकी गुलाब जूही चंपक वन फूलें
फिल्म - बसंत बहार (1956)
गायक गीतकार संगीतकार - पं. भीमसेन जोशी/ मन्ना डे, शैलेंद्र, शंकर जयकिश

केतकी गुलाब जूही चंपक वन फूले -2

रितु बसन्त अपनो कन्त, गोदी गरवा लगाय

झुलना में बैठ आज पी के संग झूले

केतकी गुलाब जूही चंपक वन फूले

गल-गल कूंज-कूंज, गुन-गुन भंवरों की गूंज

राग-रंग अंग-अंग छेड़त रसिया अनंग

कूयल की पंचम सुन दुनिया दुख भूले, भूले, भूले

केतकी गुलाब जूही चंपक वन फूले - 2

केतकी गुलाब जूही चंपक वन फूले --

रितु बसन्त अपनो कन्त, गोदी गरवा लगाय

झुलना में बैठ आज पी के संग झूले

पी के संग झूले

केतकी गुलाब जूही चंपक वन फूले

मधुर-मधुर थोरी-थोरी, मीठी बतियों से गोरी

मधुर-मधुर थोरी-थोरी

मधुर-मधुर थोरी-थोरी, मीठी बतियों से गोरी

चित चुराए हंसत जाय -2

चोरी कर सिर झुकाए

शिश झुकाये चंचल लट

गालन को छू ले - 2

केतकी गुलाब जूही चंपक वन फूले - 2

केतकी गुलाब जूही

केतकी गुलाब जूही

केतकी गुलाब जूही

केतकी

केतकी

आगे पढ़े.... ओ बसंती पवन पागल (गीत)



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ओ बसंती पवन पागल,
फिल्म - जिस देश में गंगा बहती है (1960)
गायक गीतकार संगीतकार - लता मंगेशकर, शैलेंद्र, शंकर जयकिशन

ओ बसंती पवन पागल, ना जा रे ना जा, रोको कोई

ओ बसंती...

बन के पत्थर हम पड़े थे, सूनी सूनी राह में

जी उठे हम जब से तेरी, बांह आई बांह में

बह उठे नैनों के काजल, ना जा रे ना जा, रोको कोई

ओ बसंती...

याद कर तूने कहा था, प्यार से संसार है

हम जो हारे दिल की बाजी, ये तेरी ही हार है

सुन ये क्या कहती है पायल, ना जा रे ना जा, रोको कोई

ओ बसंती...

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बसंत है आया
फिल्म - स्त्री (1961)
गायक गीतकार संगीतकार - आशाजी व मन्ना डे, भरत व्यास, सी. रामचंद्र

झूम रहा है रोम रोम क्यों

तनु मन लेहराया

थिरक रहा है अंग अंग क्यों

कौन आज आया, राजन, कौन आज आया

राजन कौन, कौन महाराजन

कौन आज दुष्यंत

स्वागत करो आज आए हैं श्री

ऋतु राज बसंत

आ~~ बसंत है आया~~

बसंत है आया रंगीला

बसंत है आया~~

बसंत है आया रंगीला~~

बसंत है आया रंगीला

बसंत है आया

मन की कोकिला लगी चहकने

आज सांस भी लगी महकने

मन की कोकीला लगी चहकने

आ~~

मन की कोकिला लगी चहकने

आज सांस भी लगी महकने

मधु मदमाती अंग अंग में नया रंग छाया~~

नया रंग छाया~~

आ बसंत का मास खुला आकाश, बढ़ रही प्यास

नैन तन मन सब डोले रे

डोले रे

चले मदन के बाण सजन हे प्रण कोई

अंजान नाच के बंधन खोले रे

खोले रे

थर थर थर प्रीत करे बेल सी

बलखाती काया आ~~

बलखाती काया आ~~

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संग बसंती अंग बसंती
फिल्म - राजा और रंक (1965)
गायक गीतकार संगीतकार - मो. रफी और लताजी, आनंद बख्शी, लक्ष्मीकांत-प्यारेलाल

संग बसंती अंग बसंती रंग बसंती छा गया

मस्ताना मौसम आ गया

संग बसंती अंग ...

धरती का है आंचल पीला झूमे अम्बर नीला-नीला

सब रंगों में है रंगीला रंग बसंती

संग बसंती अंग ...

लहराए ये तेरा आंचल सावन के झूलों जैसा

दिल मेरा ले गया है ये तेरा रूप गोरी सरसों के फूलों जैसा

ओ लहराए तेरा आंचल सावन के झूलों जैसा

दिल मेरा ले गया ...

जब देखूं जी चाहे मेरा नाम बसंती रख दूं तेरा

छोड़ो-छेड़ो ना

हो हो

तेरी बातें राम दुहाई मनवा लूटा नींद चुराई

सैंया तेरी प्रीत से आई तंग बसंती

संग बसंती अंग ...

मस्ताना मौसम आ गया

हो सुन लो देशवासियों

हो सुन लो देशवासियों

आज से इस देश में

छोटा-बड़ा कोई न होगा सारे एक समान होंगे

सुन लो देशवासियों

कोई न होगा भूखा-प्यासा पूरी होगी सबकी आशा

हम हैं राजा

तुम हो कौन नगर के राजे छोटा मुंह बड़ी बात न साजे

झूमो नाचो गाओ बाजे संग बसंती

संग बसंती अंग ...

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आई आई बसंती बेला
फिल्म - अंगुलीमाल (Angulimaal)
गायक गीतकार संगीतकार - लता मंगेशकर, मन्ना डे, मीना कपूर, अनिल बिस्वास, भारत व्यास

आई आई बसंती बेला

आ ऽ ऽ ऽ

आई आई बसंती बेला

लगा रे लगा फूलों का बन-बन मेला

मगन मन झूम रहा

झूम रहा झूम रहा झूम रहा

आज आनंद का बहार रेला

के गुन-गुन गाए भंवर अलबेला

कली का मुख चूम रहा, आई आई

झूम रहा झूम रहा झूम रहा

आई आई ...

नाचे कलियां?? नाचे घूंघट निकाल

पीले पीपल की डाल देवे पत्तों की ताल

आज कोई नहीं है अकेला ! - 2

मिलन की बेला लगन का मेला

मगन मन झूम रहा आई आई

झूम रहा झूम रहा झूम रहा

(झननननननन

छुम छननननननन बाजे

ग-ग-ग-पग पैंजनियां !) - 2

(अलबेली नार सजके सिंगार

अंचरा संभाल आई पी के द्वार) - 2

नैनों में लाज अधरों में प्यार - 2

मन में हां हां -

मुख न न न न न न!

छुम छननननन

झननननननननन बाजे

पग-पग-पग-पग पैंजनियां

झननननननन

छुम छननननननन बाजे

पग-पग-पग-पग पैंजनियां

कहीं बाजे मृदंग कहीं बाजे रे जंग (?)

कहीं पिचकारी पिचकारी छूटे रे रंग

आज रंगीली रंगों का मेला ! - 2

मिलन की बेला लगन का मेला

मगन मन झूम रहा

झूम रहा झूम रहा झूम रहा

आई आई बसंती बेला

*********

- राजश्री कासलीवाल