शादी से पहले : दूरियां हैं जरूरी
कोर्टशिप पीरियड को यादगार बनाएं
शादी के बाद जिनके साथ हमें पूरी जिंदगी गुजारनी हो, शादी से पहले उनके साथ दूरियां भी उतनी ही जरूरी हैं। आज का युवा इन बातों को लेकर पहले से ज्यादा सजग है। अब तो कोर्टशिप पीरियड में बिगड़ते मामलों को संभालने के लिए बाकायदा काउंसलिंग भी होने लगी है। थोड़ी-सी समझदारी से कोर्टशिप पीरियड को यादगार बनाया जा सकता है।लव मैरिज में तालमेल बनाने में ज्यादा वक्त नहीं लगता, क्योंकि रिश्ते में अंडरस्टैंडिंग पहले से बनी रहती है, लेकिन अरैंज मैरिज में तालमेल के लिए लंबा समय चाहिए। कोर्टशिप पीरियड में कोशिश यही होनी चाहिए कि दोनों में प्यार और अंडरस्टैंडिंग बने। माना जाता है कि एंगेजमेंट के बाद कम से कम छः महीने का वक्त कोर्टशिप के लिए दिया जाना चाहिए। कई युवा इस वक्त में ज्यादा नजदीक आ जाते हैं। इससे कई बार उनके रिश्तों में खटास आ जाती है। हर इंसान में कुछ खामियां भी होती हैं, लेकिन उन्हें वक्त के साथ सामने लाना चाहिए। कुछ युवा चाहते हैं कि इस दौरान उनका पार्टनर उनसे प्यार करने लगे। प्यार जरूरी है, लेकिन ये स्वाभाविक हो तो इसकी खुशबू जिंदगी को हरदम महकाए रखती है।सगाई से शादी के बीच का वक्त साथ जिंदगी बिताने जा रहे दो दिलों के लिए बहुत अहम होता है। मुलाकातों का दौर चलता है और नजदीकियां बढ़ती हैं, लेकिन ये नजदीकियां कई बार परेशानी का सबब बन जाती हैं। इसका नतीजा कई बार ब्रेकअप के रूप में सामने आता है और मन में हमेशा के लिए कड़वी यादें छोड़ जाता है। कोर्टशिप पीरियड केवल मौज-मस्ती के लिए नहीं बल्कि आपसी समझदारी और प्यार बढ़ाने के लिए होना चाहिए। यह वक्त बेशक नजदीक आने का है, लेकिन एक कामयाब शादी के लिए दूरियां भी उतनी ही जरूरी होती हैं। इंतजार जरूरी शादी से पहले लड़की को प्यार हो जाए, ये हर लड़का चाहता है, लेकिन ये अरैंज मैरिज का मामला है, इसलिए इंतजार तो करना ही होगा। एक सच्चे प्रेमी की तरह धीरज रखकर उनकी हां का इंतजार करें। आपका इंतजार करना उन्हें पसंद आएगा। जानें परिवार को बातचीत में अपने पार्टनर से परिवार के बारे में जानने की कोशिश करते रहें। घर के सदस्यों के बारे में जानें, उनकी पसंद और नापसंद के बारे में बात करें। जब तक शादी होगी तो आप अपने पार्टनर के परिवार के बारे में काफी कुछ जान चुके होंगे। क्वॉलिटी टाइम पार्टनर के साथ ज्यादा समय गुजारने के बजाय उन्हें अपना क्वॉलिटी टाइम देने की कोशिश करें। हफ्ते में दो बार थोड़े समय के लिए उनसे मुलाकात करें। हफ्ते में कुछ घंटे पार्टनर की फेवरेट जगह पर बिताए जा सकते हैं। इसके अलावा कभी-कभी मॉर्निंग वॉक करते हुए भी उनसे ताजा मुलाकात की जा सकती है। डेटिंग से परहेज सगाई होने पर कुछ कपल्स जबरदस्त डेटिंग शुरू कर देते हैं। सगाई का ये मतलब नहीं कि जबरदस्त डेटिंग शुरू कर दी जाए। पार्टनर के साथ बाहर जाएं, लेकिन नजदीकियां ज्यादा बढ़ने न दें। कोशिश यही होनी चाहिए कि उनसे मुलाकातें घर या आसपास ही हो। ज्यादा आउटिंग करने से बचें। सीमित हो बातचीत पार्टनर से दिनभर फोन पर बातें करेंगे, तो दोनों का क्रेज एक-दूसरे के प्रति कम होने लगेगा। वर्किंग टाइम में बेवजह एक-दूसरे को परेशान करना झगड़े को बुलावा दे सकता है। बातें करने के लिए रात का समय चुनें, क्योंकि हो सकता है अति व्यस्तता के कारण वे आपसे दिन में बात नहीं कर पाते हों।कोर्टशिप बिहेवियर -
पार्टनर के साथ उनके परिवार से मिलने का समय निकालें।-
प्यार के मामले में ज्यादा भावुकता न दिखाएं, पार्टनर का दिल भी देखें।-
पार्टनर के साथ निजी पलों में ध्यान रखें कि नजदीकियां ज्यादा न बढ़ें।-
अपनी भावनाओं, विचारों, पसंद-नापसंद को पार्टनर के साथ शेयर करें।-
कोर्टशिप पीरियड में अपने अतीत के बारे में पार्टनर से चर्चा करना आपको मुश्किल में डाल सकता है। अत: अपने बीते कल के बारे में चर्चा न करें।