राहुल से लेकर मोदी तक बदलता रहा है गुंजा कपूर का ‘पॉलिटिकल डिस्कोर्स’
गुंजा कपूर नाम की लड़की खबरों में है। वो फेसबुक से लेकर ट्विटर तक वायरल हो रही है। बुधवार को वह तब खबरों में आई, जब उसे दिल्ली के शाहीन बाग में बुर्का पहनकर चली और इसी दौरान उसे वहां प्रदर्शन में शामिल मुस्लिम महिलाओं ने पकड़ लिया। इसके बाद विवाद शुरू हो गया है, कोई उसे भाजपा का जासूस बता रहा है तो कोई कुछ और। वो इसलिए भी सुर्खियों में है, क्यों प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उसे ट्विटर पर फॉलो करते हैं।
गुंजा कपूर दरअसल एक यूट्यूबर है। उसके चैनल के 5 हजार से ज्यादा सब्सक्राइबर्स हैं, वहीं ट्विटर पर गुंजा को ट्विटर पर 23 हजार से से ज्यादा लोग फॉलो करते हैं। इसके साथ ही गुंजा कई हिंदी और अंग्रेजी पोर्टल्स पर आर्टिकल्स लिखती हैं।
‘पहले मोदी के खिलाफ लिखा था ट्वीट, फिर राहुल की तारीफ की। साल 2014 के बाद हो गई मोदी की फैन’
उसके ट्वीट से फिलहाल वो राइट विंग या भाजपा की समर्थक नजर आती हैं, हालांकि इसके पहले उसका पॉलिटिकल डिस्कोर्स कुछ और नजर आता था। पहले वो मोदी के खिलाफ ट्वीट कर चुकी है। साल 2017 के अपने एक ट्वीट में उसने लिखा था-
गोडसे ने गांधी की हत्या की, मोदी ने महात्मा गांधी की विरासत को तहस नहस कर दिया। भाजपा अब नरसंहार कराएगी।
इसके बाद साल 2018 में गुंजा ने राहुल गांधी के एक भाषण की जोरदार तारीफ की थी। उसने गांधी को चिट्ठी भी लिखी थी और कांग्रेस नेताओं के हैशटैग मीटू मूवमेंट में नाम आने के पर राहुल से जवाब मांगा था।
साल 2014 के बाद मोदी के प्रधानमंत्री बनने पर वो उनके कामकाज को वॉच करती थी। और मोदी से प्रभावित होकर भाजपा का समर्थन करने लगी। इस बारे में उसने अपने एक आलेख में लिखा भी था- मैं मोदी के काम देखकर उनकी फैन हो गई हूं।
यूट्यूब पर गुंजा के चैनल का नाम राईट नैरेटिव (Right Narrative) है। इस पर वो वीडियो अपलोड करती है। उसने हाल ही में शाहीन बाग़, अयोध्या राम मंदिर और आर्टिकल 370 पर कई वीडियो पोस्ट किए हैं।
गुंजा 22 दिसम्बर 2008 से ट्विटर पर हैं। ला मार्टिनियर के बाद उसने ओडिशा के जेवियर इंस्टिट्यूट ऑफ मैनेजमेंट में पढ़ाई की। पहले इंडिया फाउंडेशन नाम के थिंक टैंक में एसोसियेट फेलो थी।
शाहीन बाग जाने को मोटिव?
पुलिस की पूछताछ में सामने आया कि यूट्यूबर गुंजा अपने चैनल के लिए वीडियो रिकॉर्ड करना चाहती थी, लेकिन जैसा कि उसे आशंका थी कि उसे प्रदर्शन में जाने नहीं दिया जाएगा। उसे डर था कि उसे भी धरनास्थल में घुसने नहीं दिया जाएगा, इसलिए उसने बुर्का पहनकर वहां जाने का फैसला किया। मुस्लिम महिलाओं को गुंजा पर शक हुआ और उन्होंने उससे आइडी मांग लिया। इसी दौरान वो पकडा गई। जिसके बाद पुलिस ने उसे अपने प्रोटेक्शन में लेकर बाहर निकाला।