मंगलवार, 30 अप्रैल 2024
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गज पर सवार होकर आ रही है मकर संक्रांति

महोदरी संक्रांति सरकार के लिए अशुभ

Makar Sankranti 2014 | गज पर सवार होकर आ रही है मकर संक्रांति

यह मकर संक्रांति कैसी होगी देश के लिए

जानिए क्या लेकर आई है यह संक्रांति

जब सूर्य मकर राशि में प्रवेश करता है तो मकर संक्रांति होती है। 14 जनवरी 2014 को आने वाली मकर संक्रांति महोदरी है। यह संक्रांति सरकार के लिए कष्टकारी होगी। जनवरी के बाद एक माह कठिन परीक्षा का भी हो सकता है। सूर्य 14 जनवरी को मकर में राहु के नक्षत्र आर्द्रा, योग ऐन्द्र, करण में रहेंगे।

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इस बार संक्रांति का वाहन है हाथी, उपवाहन है गधा, वस्त्र रक्त, आयुध धनुष, फल मध्य, जाति मृग, भक्षण पेय, लेपन गोरोचन, वय प्रौढ़ा, पात्र लोहा, भूषण मुकूट, कंचु सित, स्थिति बैठी, फल लक्ष्मी, पुष्प बेल मंगलवारी होने से दक्षिण दिशा की और गमन करेगी। नैऋत्य की और दृष्टि होती है।

जिस-जिस वस्तुओं पर संक्रांति आती है वह महंगी हो जाती है। जिस दिशा की और संक्रांति गमन करती है व जिस दिशा में संक्रांति की दृष्टि होती है उस दिशा को कष्ट रहता है।

मंगलवार को संक्रांति होने का महत्व पढ़ें अगले पेज प

मंगलवारी संक्रांति होने से गुड़, रस, नमक, घी, तेल, सरसो, केसर, मंजीठ, लाल वस्तु, मक्कादि, चना, ज्वार, बाजरा आदि तेज होंगे। रुई, सूत, कपास, बिनोला, तांबा, पीतल, जस्ता, सोना, चांदी में घट-बढ़ रहेगी।

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देश के लिए कैसा होगा संक्रांति का फल


इस संक्रांति पर मकर का सूर्य मेष लग्न में आ रहा है। लग्नेश मंगल षष्ट भाव में होने से सरकार को परेशानियों का सामना करना पड़ेगा। राहु के नक्षत्र आर्द्रा में होने से कष्टकारी भी रहती है। संक्रांति मेष लग्न में राहु-शनि के साथ सप्तम भाव में होने से महिला वर्ग के लिए शुभ नहीं रहेगा।

सप्तम भाव व द्वितीय भाव वाणी व स्त्री है अत: स्त्रियों के लिए होने वाले वार्तालाप ठीक नहीं रहेगें। भाग्य व द्वादश भाव का स्वामी गुरु वक्री भी है अतः बाहरी मामलों में सावधानी रखना होगी।

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शनि की लग्न पर नीच दृष्टि होने से देश में राजनीतिक संकट मंडराता दिखाई देगा। लेकिन मंगल की उच्च दृष्टि लग्न पर होने से साहस बल द्वारा प्रभावी तरीके से हर मामला निपटा लिया जाएगा।