कैसा जीवनसाथी चाहते हैं आज के युवा?
-रवीन्द्र गु्प्ता
युवा होते ही नवयुवक-नवयुवती सपनों में खोने लगते हैं। एक तो युवावस्था का जोश, दूसरा उनमें कुछ कर गुजरने का जज्बा। हर नवयुवक-नवयुवती की कामना रहती है कि उसका होने वाला जीवनसाथी सर्वगुण संपन्न हो, किंतु ऐसा हो पाना कतई संभव नहीं है। हर एक में कुछ-न-कुछ कमी जरूर होती है। अंग्रेजी में एक कहावत है कि Man is imperfect यानी कि आदमी अपूर्ण है। अगर वह 'पूर्ण' हो गया तो भगवान हो जाएगा। कैसा हो दूल्हा? लड़कियां ऐसा जीवनसाथी चाहती हैं जिस पर उसे गर्व हो, न कि शर्म। लड़कियां लड़कों में रंग-रूप न देखकर उसके वैयक्तिक गुणों को देखती हैं जिससे आपसी समन्वय, तालमेल में दिक्कत न हो। लड़का देखने के पहले लड़की के परिजन लड़के वाले के खानदान, आमदनी, लड़के के रंगरूप, व्यवहार, बोलचाल के ढंग आदि को जरूर देखकर तुलना करते हैं कि लड़की से लड़के का तालमेल बैठेगा या नहीं। सिर्फ अमीर घर देखकर लड़की का विवाह कर दिया जाना कतई उचित नहीं कहा जा सकता है, क्योंकि कई अमीर घराने में भी लड़कियों को दहेज को लेकर सताने की बातें सामने आई हैं। लड़कियां कंजूस, मक्खीचूस तथा तंगदिल लड़कों को कतई पसंद नहीं करती हैं तथा आकर्षक व्यक्तित्व का स्वामी होना हर लड़की को पसंद आता है। खुले विचारों वाले नवयुवकों को युवतियां पसंद करती हैं। कमाऊ युवक ही युवतियों को भाते हैं। पत्नी की कमाई पर अपना खर्चा चलाने वाले युवक युवतियों को पसंद नहीं। लड़कियां उन लड़कों को सर्वाधिक पसंद करती हैं, जो नारी तथा उसकी अस्मिता का सम्मान करना जानते हैं। हंसने-हंसाने वाले नवयुवकों को ही लड़कियां ज्यादा पसंद करती हैं। आकर्षक व्यक्तित्व का स्वामी, उत्तम भाव, आंखें आदि नवयुवकों के व्यक्तित्व को आकर्षक बनाते हैं, जो लड़कियों को लुभाते हैं।लड़कियां ऐसे लड़कों को भी पसंद करती हैं, जो अवगुणी न हो तथा किसी प्रकार के नशे की गिरफ्त में न हो तथा पत्नी को दासी के रूप में नहीं, बल्कि दोस्त के रूप में देखता हो।