गुरुवार, 9 जनवरी 2025
  • Webdunia Deals
  1. लाइफ स्‍टाइल
  2. साहित्य
  3. व्यंग्य
  4. Vyangya Article
Written By Author आरिफा एविस

व्यंग्य रचना : भारत माता की जय

व्यंग्य रचना : भारत माता की जय - Vyangya Article
जब सवाल देशभक्ति का हो तो कभी पीछे नहीं हटना चाहिए। हम जिस देश में रहें, उसके प्राचीन सामंती विचारों की कोई कदर न करें और उसके प्रति निष्ठा न रखें ये कहां की बात हुई? देशभक्ति को समय-समय परखते रहना चाहिए क्योंकि लोग बहुत चालाक हो गए हैं।

 
मुझे तो समझ ही नहीं आता कि वो लोग कैसे होंगे जिनसे भारत माता की जय नहीं बोली जाती! इसलिए देश भक्ति के शिक्षण-प्रशिक्षण के लिए और भारत माता की जय बुलवाने के लिए कुछ न कुछ हथकंडे अपनाने भी पड़ें तो देश कि सेवा में यह कुछ भी नहीं।
 
अरे यह तो गर्व की बात है, देश की युवा पीढ़ी देशभक्ति के उन्माद में कुछ भी कर सकती है उनको सरकारी सुरक्षा प्रदान की जाएगी। हमारी पुरजोर कोशिश रहेगी कि लोग भारत माता की जय बोलें। राष्ट्रवाद तो हर व्यक्ति के डीएनए में होना ही चाहिए। और तो और अब पूरी दुनिया से भी कहलायेंगे यही हमारा लक्ष्य है। उन लाखों नौजवानों को जय बोलना चाहिए जिसके हाथ में डिग्री तो है पर नौकरी नहीं है। जो बिना नौकरी आत्महत्या करने को तैयार हैं। अरे भई भारत माता की जय बोलो, नौकरी की समस्या तो अपने आप दूर हो जाएगी।
 
किसान जो कभी सूखे से तो कभी बाढ़ से तो कभी जमाखोरी के कारण कर्ज में डूब जाते हैं और आत्महत्या कर लेते हैं,  हमारे नेताओं को सिर्फ लात मारकर मरने के लिए ही नहीं कहना चाहिए बल्कि उसके गले में फांसी का फंदा डालकर भारत माता की जय बुलवानी चाहिए। वो बच्चे जिन्होंने कभी स्कूल की शक्ल नहीं देखी और वो बच्चे जो स्कूल सिर्फ एक वक्त के खाने के लिए भिखमंगे बना दिए गए हैं अगर वे भारतमाता कि जय नहीं बोलेंगे तो कौन बोलेगा?  
 
4 माह की बच्ची से लेकर 80 वर्षीय औरतें, राह चलते या कभी-कभी घरों में हवस का शिकार बन जाती हैं। भारत माता की जय बोलने पर दोषी की सजा को कम कर दिया जाना चाहिए। जो प्रेम, इश्क, मोहब्बत की बातें करे और प्राचीन परंपरा को तोड़ने की बात करे,  भारत माता की जय बुलवाकर उसके ऊपर तेजाब डालकर देशभक्ति को पुख्ता करना चाहिए।
 
भारत माता को सबसे ज्यादा खतरा तो वैज्ञानिक सोच रखने वालों से है, तार्किक लोगों से है, साझी विरासत की बात करने वालों से है। इन लोगों से निपटने के लिए घरों पर हमला, गोली से मार देना, देशद्रोही कह देना काफी नहीं। उनको मार देने वालों को भी पैदा किया जाना चाहिए, ईनाम घोषित करना चाहिए।
  
जाति व्यवस्था भारत की प्राचीन परंपरा है। बस इसको तोड़ने की बात न करो, जो भी तोड़ने की कोशिश करे, घर जलने से काम नहीं चलेगा दलितों के गांव के गांव जलाने पड़े तो यह भारत माता की सच्ची सेवा होगी। यह सब करने वाले देशभक्त आपको जरूर मिल जाएंगे, क्योंकि 20 रुपए रोज पर गुजारा वाले लोगों की कमी नहीं है। ये लोग ही भारत माता के काम आ सकते हैं।
 
 इससे तो अच्छे वो लोग हैं जो अपने देश के लिए सब कुछ बर्दाश्त कर सकते हैं, पर देश के खि‍लाफ कोई बोले तो बिलकुल बर्दाश्त नहीं कर सकते। देशद्रोह का आरोप लगाने में बिलकुल भी नहीं हिचकते। अगर उनका बस चले तो देशनिकाला भी कर दें। भारत माता की जय को देश तक सीमित नहीं करना चाहिए। देश में तो लोग मरते ही रहते हैं, हमें तो दूर देश में मरने वालो को श्रद्धांजलि देने और आपनी विश्व बंधुत्व और विश्वगुरु होने की महिमा को फैलाने के लिए जाना चाहिए। इसीलिए तो देश में रोज तिल-तिल कर मर रहे हैं पर बाहर चंद लोग मर जाएं तो श्रद्धांजलि देने से हम नहीं चूकते।
 
भारत माता की जय बोलकर देशी-विदेशी कंपनियों को उनकी हर मांग को पूरा करते हुए किसानों की जमीन लेकर देनी चाहिए। जनता को भारत माता कहने वाले नेहरु की थ्योरी को अब बदलने का सही वक्त है। अभी नहीं तो कभी नहीं। तो बोलो भारत माता की जय। मेरा भारत महान।