बाल कविता: हाथी दादा
ताधिक ताधिक ता ता धिन्ना।
हाथी दादा चूसो गन्ना।
फिर थोड़े से केले खाना।
केले खाकर मेले जाना।
खूब झूलना वहां हिंडोला।
चक्कर वाला झूला गोला।
सूंड बढ़ाना आसमान तक
ग्रह तारों के नाक कान तक।
गोरा चांद चूमकर आना।
काले से गोरे हो जाना।
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