शुक्रवार, 22 नवंबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. खबर-संसार
  2. समाचार
  3. गुजरात विधानसभा चुनाव 2017
  4. Gujrat election
Written By
Last Modified: अहमदाबाद , मंगलवार, 5 दिसंबर 2017 (15:44 IST)

गुजरात की इन पांच सीटों पर दिखेगा कांटे का मुकाबला

गुजरात की इन पांच सीटों पर दिखेगा कांटे का मुकाबला - Gujrat election
अहमदाबाद। पिछले गुजरात विधानसभा चुनाव में कम से कम पांच क्षेत्रों में हार जीत का अंतर 1500 मतों से कम रहा था और इस बार भी इन सीटों पर कांटे का मुकाबला होने की उम्मीद है।
                
सोजित्रा, काकोल और कांकरेज विधानसभा क्षेत्र में जीत हार का अंतर एक हजार से कम मतों से हुआ था जबकि आणंद एवं तलाला सीट पर एक हजार से कुछ अधिक मतों से जीत हार का फैसला हुआ था। इस बार इन क्षेत्रों में राज्य में सत्तारूढ़ भाजपा और मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के बीच कांटे का मुकाबला होने की संभावना व्यक्त की जा रही है।
 
सोजित्रा विधानसभा क्षेत्र में पिछली बार कांग्रेस के पूनम भाई परमार ने भाजपा के विपुल कुमार पटेल को मात्र 162 मतों के अंतर से पराजित किया था। परमार को 65210 और पटेल को 65048 वोट मिले थे। इस बार भी इन दोनों के बीच ही मुकाबला है।
 
कलोल सीट पर कांग्रेस के बलदेवजी ठाकोर 343 मतों के अंतर से निर्वाचित हुए थे। ठाकोर को कुल 64757 वोट मिले थे जबकि उनके प्रतिद्वंदी भाजपा के अतुलभाई पटेल 64414 वोट लाकर पराजित हो गये थे। इस बार इस सीट पर कांग्रेस ने ठाकोर को तथा भाजपा ने पटेल को उम्मीदवार बनाया है। 
 
गत विधानसभा चुनाव में कांकरेज विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस के दर्शीभाई खानपुर ने 600 मतों के अंतर से चुनाव जीता था। खानपुर को कुल 73900 वोट पड़े थे जबकि उनके विरोधी भाजपा के कीर्ति सिंह बघेला को 73300 मत मिले थे। इस बार कांग्रेस ने अपना उम्मीदवार बदल दिया है और दिनेश झलेरा को चुनाव मैदान में उतारा है। भाजपा ने बघेला को फिर उम्मीदवार बनाया है।
              
आणंद में भाजपा के दिलीप भाई पटेल और तलाला सीट पर कांग्रेस के जसुभाई बराड़ का एक हजार से कुछ अधिक मतों के अंतर से जीत हुई थी। आणंद में कांग्रेस के कांतिभाई परमार 65210 वोट लाकर तथा तलाला में भाजपा के गोविंद परमार 61244 वोट लाकर चुनाव हार गए थे। गुजरात की 182 सदस्यीय विधानसभा के लिए दो चरणों में नौ और 14 दिसंबर को विधानसभा चुनाव है। इन क्षेत्रों में अभी चुनाव प्रचार चरम पर है। (वार्ता)
ये भी पढ़ें
कैग ने खोली मध्यप्रदेश में स्कूली शिक्षा की पोल