कांग्रेस विधायक नितेश राणे ने अभियंता पर फेंका कीचड़, गिरफ्तार
मुम्बई। कांग्रेस विधायक नितेश राणे और उनके समर्थक बृहस्पतिवार को महाराष्ट्र में एक उप अभियंता पर कीचड़ से हमला करते हुए कैमरे में कैद हो गए। मध्य प्रदेश के इंदौर में भाजपा विधायक आकाश विजयवर्गीय द्वारा एक सरकारी अधिकारी पर हमला किए जाने के कुछ दिनों बाद यह घटना सामने आई है।
भाजपा से राज्यसभा सदस्य और पूर्व मुख्यमंत्री नारायण राणे के विधायक पुत्र नितेश राणे और उनके सात समर्थकों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है और सिंधदुर्ग जिले के कांकावली में भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) के उप अभियंता प्रकाश खेडेकर पर कीचड़ फेंकने के लिए हिरासत में लिया गया है।
मुम्बई से लगभग 300 किलोमीटर दूर कांकावली से एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि उन्हें (नितेश) गिरफ्तार किये जाने की प्रक्रिया चल रही है।
कांग्रेस विधायक नितेश राणे का ऐसा एक कथित वीडियो सामने आया है जिसमें वह महाराष्ट्र के कांकावली में मुम्बई-गोवा राजमार्ग पर गड्ढों के विरोध में गुरुवार को एक उप अभियंता को एक पुल से बांधने के बाद उन पर कीचड़ फेंकते हुए नजर आ रहे हैं।
सोशल मीडिया पर वायरल हुई वीडियो क्लिप में राणे और कांकावली नगर परिषद के अध्यक्ष समीर नलवाडे को उप अभियंता प्रकाश खेडेकर को एक पुल की रेलिंग से कथित तौर पर बांधते हुए और उन पर कीचड़ फेंकते हुए देखा जा सकता है।
राणे और नलवाडे को खेडेकर को यह कहते हुए भी सुना जा सकता है, 'हर दिन स्थानीय लोगों को, गुजरने वाले वाहनों से ऐसी ही कीचड़ का सामना करना पड़ता है... आप भी इसका अनुभव करें।'
अधिकारी ने बताया कि इस घटना के सिलसिले में विधायक और उनके समर्थकों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 353,332, 342 और 120-बी के तहत मामला दर्ज किया गया है।
पूर्व मुख्यमंत्री नारायण राणे ने अपने विधायक पुत्र नितेश राणे द्वारा एक अभियंता पर हमला करने के लिए बृहस्पतिवार को माफी मांगी।
उन्होंने कहा, 'मैं एक सरकारी अधिकारी पर कीचड़ फेंकने के अपने बेटे के कृत्य पर माफी मांगता हूं। यह विरोध (राजमार्ग की खराब हालत के खिलाफ) स्थानीय लोगों के लिए था।'
गौरतलब है कि गत 26 जून को इंदौर में भाजपा के वरिष्ठ नेता कैलाश विजयवर्गीय के पुत्र एवं भाजपा विधायक आकाश विजयवर्गीय ने एक सरकारी अधिकारी पर क्रिकेट के बल्ले से हमला किया था।
इस घटना के सिलसिले में आकाश विजयवर्गीय को गिरफ्तार कर लिया गया था और उन्होंने जमानत मिलने से पहले चार दिन जेल में बिताये थे।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आकाश विजयवर्गीय के इस गलत व्यवहार का कड़ा विरोध किया था और पार्टी नेताओं से कहा था कि अक्खड़पन और दुर्व्यवहार को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। (भाषा)