पिछले साल मैन ऑफ द मैच बनने के बाद बैठा दिया था कुलदीप को, अब गेंदबाज ने यह कहा
INDvsWI हालात के अनुरूप टीम संयोजन के कारण कई बार बाहर होने वाले कुलदीप यादव के लिये यह सामान्य बात है और बायें हाथ के कलाई के इस स्पिनर का मानना है कि मौके गंवाने पर दुखी होने की बजाय हर मौके का फायदा उठाना बेहतर है।कुलदीप ने वेस्टइंडीज के खिलाफ पहले वनडे में तीन ओवर में छह रन देकर चार विकेट लिये जिससे भारत ने पांच विकेट से जीत दर्ज की।
प्लेयर आफ द मैच चुने गए कुलदीप ने मैच के बाद प्रेस कांफ्रेंस में कहा ,अधिकांश समय मुझे हालात और टीम संयोजन की वजह से खेलने का मौका नहीं मिलता। अब यह सामान्य बात है। मैं इतने साल से क्रिकेट खेल रहा हूं ।अब छह साल से अधिक हो गए। ये चीजें सामान्य हैं।उन्होंने कहा ,मैं अब विकेट लेने के बारे में ज्यादा नहीं सोचता। मेरा फोकस प्रक्रिया पर है कि किस लैंग्थ से गेंद डालनी चाहिये।
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मैन ऑफ द मैच बनकर हो गए थे बाहर
इस साल 9 वनडे में 19 विकेट ले चुके कुलदीप को आठ विकेट लेने के बावजूद दिसंबर में बांग्लादेश के खिलाफ दूसरे टेस्ट में नहीं चुना गया था।उन्होंने कहा ,पिछले डेढ साल से जब भी मौका मिला है , मैने अच्छी लैंग्थ पर गेंद डालने की कोशिश की है। मैं लगातार अच्छी गेंदबाजी करना चाहता हूं। जहां तक विकेट का सवाल है तो किसी दिन मिलेंगे और किसी दिन नहीं। मैं वैरिएशन तभी आजमाता हूं जब विरोधी टीम जल्दी से चार या पांच विकेट गंवा चुकी होती है।
कुलदीप ने कहा कि भारतीय टीम में प्रतिस्पर्धा से उन्हें अच्छा प्रदर्शन करने की प्रेरणा मिलती है और वह प्रदर्शन की बजाय प्रक्रिया पर फोकस कर रहे हैं।उन्होंने कहा ,भारतीय टीम में प्रतिस्पर्धा हमेशा रहेगी लेकिन इससे अच्छा प्रदर्शन करने की प्रेरणा मिलती है। मैने एनसीए में अपनी गेंदबाजी पर काम किया है ।मौका मिलने पर मैं उसका पूरा फायदा उठाने की कोशिश करता हूं ।
भारतीय क्रिकेट में कुल चा के नाम से मशहूर कुलदीप और युजवेंद्र चहल की जोड़ी लंबे समय से साथ नहीं खेल पाई है।कुलदीप ने कहा ,हमें पता है कि संयोजन अहम है । हमारा तालमेल बेहतरीन है। वह मेरी काफी मदद करता है और कोशिश करता है कि मैं सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करूं। मैं भी उसे अपनी राय देता हूं जब वह खेल रहा होता है।
पूर्व कप्तान विराट कोहली, मौजूदा कप्तान रोहित शर्मा और कोच राहुल द्रविड़ की भूमिका के बारे में कुलदीप ने कहा ,सीनियर्स की भूमिका अहम है। जब मैने अपने खेल में बदलाव किया तो विराट भाई और रोहित भाई ने काफी साथ दिया। उन्होंने मुझ पर भरोसा रखा और कोच राहुल सर ने भी मेरा हौसला बढाया।
(भाषा)