ये मोमोस जान ले लेगा, जगह-जगह हो रही मिलावट, गंदगी से भरा जानलेवा अजीनोमोटो मिला, आउटर में धड़ल्ले से बिक रहा
शहर में फैक्ट्री से 150 किलो अजीनोमोटो, लाइसेंस भी अवैध
अपने खाने और स्वाद के लिए जाने जाने वाले इंदौर में खाद्य पदार्थों में मिलावटखोरी का धंधा अपने चरम पर है। हर दिन कहीं न कहीं मिलावट का मामला सामने आ रहा है। हाल ही में कई क्विंटल नकली घी और मावा बरामद किया गया था। अब इंदौर में बनने वाले मोमोज में जानलेवा अजीनोमोटो मिला है।
खाद्य विभाग ने कार्रवाई करते हुए 150 किग्रो जानलेवा अजीनोमोटो जब्त किया है। बता दें कि इंदौर में मोमोज खाने का काफी चलन है। जगह जगह मोमोज के ठेले और दुकानें नजर आती है। बडी मात्रा में विभाग ने कार्रवाई करते हुए ये खतरनाक माल जब्त किया है।
150 किलो अजीनोमोटो जब्त: बता दें कि विभाग को इंदौर के चिंटू मोमो फैक्ट्री में गंदगी, अवैध लाइसेंस और बच्चों के लिए हानिकारक अजीनोमोटो का भारी मात्रा में उपयोग पाया गया, जिसके बाद विभाग ने फैक्ट्री को सील कर 150 किलो माल जब्त किया है। खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग ने खातीपुरा में एक बड़ी कार्रवाई करते हुए 'चिंटू मोमो' फैक्ट्री पर छापा मारा था। निरीक्षण के दौरान फैक्ट्री में भारी अनियमितताएं पाई गईं, जिसके बाद इसे तत्काल प्रभाव से सील कर दिया गया है।
फैक्ट्री में भारी गंदगी पूरे शहर में होता है सप्लाय : बता दें कि खातीपुरा में संचालित 'चिंटू मोमो' फैक्ट्री, के प्रोपराइटर दीपक चौरे हैं। इनकी फैक्ट्री से शहर के कई फास्ट फूड संचालकों को मोमोस सप्लाई करती है। अधिकारियों को निरीक्षण के दौरान परिसर में भारी गंदगी मिली। रॉ मटेरियल (कच्चे माल) का भंडारण भी उचित तरीके से नहीं किया गया था। यहां गंदगी पसरी थी।
अवैध लाइसेंस, फैक्ट्री सील : इस पूरे प्रकरण में सबसे बडी लापरवाही यह मिली कि परिसर में खाद्य पदार्थ निर्माण के लिए आवश्यक वैध अनुज्ञप्ति (फूड लाइसेंस) ही नहीं थी। जन स्वास्थ्य और नियमों के उल्लंघन को देखते हुए, परिसर में खाद्य कारोबार को तत्काल प्रभाव से बंद करा दिया गया और फैक्ट्री को सील कर दिया गया। टीम ने मौके से 04 प्रकार के मोमोस, मसाला, अजीनोमोटो, तंदूरी मसाला और चीज़ सहित कुल 07 नमूने जांच के लिए भेजे हैं और लगभग 150 किलोग्राम खाद्य पदार्थ जब्त किया है।
कितना खतरनाक है ये 'जहर' अजीनोमोटो : खाद्य विभाग की टीम को मौके पर बड़ी मात्रा में अजीनोमोटो (Ajinomoto) मिला। प्रभारी वर्षा खराटे ने पुष्टि की कि इस अजीनोमोटो का इस्तेमाल मोमोस बनाने में किया जा रहा था। डॉक्टरों का कहना है कि यह स्पष्ट है कि खाद्य पदार्थों में तय मात्रा से ज्यादा अजीनोमोटो का उपयोग हो रहा था, जो 12 साल से कम उम्र के बच्चों के खतरनाक होता है। डॉ प्रवीण जडिया ने बताया कि वैसे भी मोमोज को मेयोनिज के साथ खाया जाता है, वो भी एक तरह से स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होता है।
आउटर एरिया में चल रहे कई होटल : बता दें कि शहर में ही नहीं, बल्कि इंदौर के आउटर एरिया में भी कई ऐसे होटल्स और ठेले संचालित हो रहे हैं, जहां मोमोज के साथ ही कई तरह के चायनीज आइटम्स नकली खाद्य पदार्थ से बनाए जा रहे हैं। विभाग को यहां भी कार्रवाई करना चाहिए, जिससे भारी मात्रा में नकली माल बरामद किया जा सके और लोगों अपनी हेल्थ खराब होनेसे बताया जा सके।
पनीर और चना दाल के नमूने लिए : बता दें कि तहसीलदार योगेश मेश्राम के नेतृत्व में इंदौर बायपास स्थित पपाया ट्री रेस्टोरेंट से पनीर और चना दाल के नमूने लिए। वहीं, जुरू रेस्टोरेंट (बायपास) से पनीर, पनीर लबाबदार और सेवइयां के सैंपल लिए गए। इसके अलावा, राउ स्थित यूडब्लयूसी फूड प्राइवेट लिमिटेड, जो चिप्स निर्माण का काम करती है, से चिप्स और आलू पाउडर के नमूने भी लिए गए हैं। कलेक्टर शिवम वर्मा ने बताया कि शुद्ध खाद्य सामग्री में मिलावट करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के आदेश दिए गए हैं। इसके साथ ही सभी सैंपलों को जांच के लिए राज्य खाद्य परीक्षण प्रयोगशाला भोपाल भेजा गया है, जिनकी रिपोर्ट आने के बाद आरोपियों के खिलाफ नियमानुसार कार्रवाईकी जाएगी।
Edited By: Navin Rangiyal