शनिवार, 13 सितम्बर 2025
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गड्ढों में गिरकर घायल हुआ इंदौर का विकास, चूरी-गिट्टी में बदली इंदौर की सड़कें, सांसद से विधायक तक मिला सिर्फ आश्‍वासन

Indore roads
प्रदेश के सबसे बड़ा शहर और आर्थिक राजधानी इंदौर के विकास की सारी अवधारणाएं ध्‍वस्‍त हो गई हैं। शासन-प्रशासन, नेता और जनप्रतिनिधि के तमाम वादे और दावे जमीन पर धराशाई होकर गिट्टी और चूरी में तब्‍दील हो गए हैं। बदहाल सड़कों का गुबार और मलबा हवा में उड़कर इंदौर का मजाक उड़ा रहा है। पूरे शहर की सड़कें अपनी बदहाली की खुद गवाही दे रही हैं। इन सड़कों पर आम लोगों का वाहन चलाना तो दूर पैदल चलना भी मुश्‍किल हो गया है।

इंदौर का कोई इलाका नहीं है, जहां सड़कें पूरी तरह से गड्ढों में तब्‍दील होने से बच गईं हों। आम आदमी इस बदहाली का गवाह है। इन सबके बाद भी नगर निगम और इंदौर विकास प्राधिकरण ने जनता को भगवान के भरोसे छोड़ दिया है। दरअसल, निगम और आईडीए ने खराब सड़कों की जिम्‍मेदारी एक दूसरे के ऊपर ढोल दी है।

गिरकर घायल हो रहे राहगीर : सड़कों की बदहाली का आलम यह है कि वाहन चालक सड़कों पर चलते हुए गिरकर घायल हो रहे हैं। बुधवार को मधूमिलन चौराहे पर वेबदुनिया के इस प्रतिनिधि ने आधा घंटा रूक कर पूरे हालात का जायजा लिया। सामने आया कि सड़की उखड़ी हुई मोटी गिट्टी और चूरी की वजह से लोग गिरकर घायल हो रहे हैं। चौराहे पर ड्यूटी दे रहे एक पुलिसकर्मी वाहन चालकों को सहारा देकर उठा रहे हैं। ड्यूटी पर मौजूद पुलिककर्मी ने बताया कि खराब सड़कों की वजह से दिनभर यही हाल हो रहे हैं। सड़कों की वजह से ट्रैफिक जाम होना भी आम बात है।

निगम और आईडीए आमने-सामने : महापौर पुष्‍यमित्र भार्गव ने शासन को पत्र लिखकर कहा है कि तमाम तरह के विकास कार्यों की वजह से सड़कें बदहाल हो रही हैं। मेट्रो के प्रोजेक्‍ट की वजह से भी सड़कें बदहाल हो रही हैं, जबकि खुद निगम की सड़कें पूरी तरह से जर्जर हो चुकी हैं। महापौर के पत्र के बाद आईडीए प्रशासन का कहना है कि हमने सर्विस रोड बनाने के लिए 6 करोड़ रुपए नगर निगम इंदौर को दे दिए थे, लेकिन निगम प्रशासन ने कोई सुधार नहीं किया। ऐसे में निगम और आईडीए प्रशासन ने जनता की परेशानी को एक दूसरे के ऊपर ढोल दिया है
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इंदौर के 27 इलाकों के हाल की कहानी : शहर में एबी रोड, एमजी रोड, मधुमिलन चौराहा, जावरा कंपाउंड, न्यू पलासिया, महालक्ष्मी नगर सहित कई कॉलोनियों में सड़कें गड्‌ढों के कारण पूरी तरह से जार जार हो गई हैं। पिछले दिनों बारिश में चाणक्यपुरी, राजेंद्र नगर, अन्नपूर्णा, चंद्र नगर, एरोड्रम, मालगंज हर जगह पानी भरा रहा। रेडिसन से खजराना तक मेट्रो के काम के चलते सड़क पूरी उखड़ चुकी। बड़े-बड़े गड्‌ढे हो चुके। एमआर-10 पर मेघदूत चौपाटी के सामने पुल के पास वाले स्टेशन पर जानलेवा गड्ढा है। लालबाग और इंदिरा प्रतिमा समेत कई इलाकों में अब तक जल निकासी नहीं हो सकी है। वहीं, दूसरी तरफ आईटी पार्क, मूसाखेड़ी, एमआर-10, विजय नगर, लवकुश चौराहा सहित शहर की ऐसी कोई सड़क नहीं हैं, जहां गड्ढें नहीं हैं। निरंजनपुर, सत्यसाईं, मूसाखेड़ी और आईटी पार्क चौराहों पर फ्लायओवर निर्माण के चलते सर्विस रोड की स्थिति जर्जर। खजराना फ्लायओवर के पास की सर्विस रोड भी खस्ताहाल। ऊपर से स्कूल और गुमटियों का ट्रैफिक। रेती मंडी फ्लायओवर निर्माण की वजह से यहां के हालात बद से ज्‍यादा बदतर हो गए हैं। सर्विस रोड पूरी तरह बर्बाद हो चुकी है। गड्‌ढों में वाहन तो दूर पैदल आदमी ठीक से नहीं चल पा रहा है।
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हर साल 40 करोड़ रुपए गड्ढों : बदहाल सड़कों और गड्ढों से पूरे शहर के लाखों वाहन चालक हैरान परेशान हैं। हर बारिश से पहले दावे किए जाते हैं कि सड़कें सुधार ली गई हैं और पैंचवर्क कर लिया गया है। शहरवासियों को हर बार बारिश से पहले आश्वासन मिलता है कि उन्हें इस साल गड्ढों वाली सड़कों से मुक्ति मिलेगी, लेकिन ऐसा होता नजर नहीं आता है। हर साल 40 करोड़ रुपए गड्ढों में डालने के बावजूद हालत सुधर नहीं रहे हैं। शहर की शायद ही कोई सड़क होगी जो खुद हुई नहीं है। निगम के जिम्मेदार तर्क देते हैं कि विकास कार्यों के चलते सड़कें खोदी गई हैं, लेकिन फिर सवाल खड़ा होता है कि इस बात की निगरानी क्यों नहीं होती। ठेकेदार एजेंसी रेस्टोरेशन का काम कर भी रही है या नहीं।
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जनता को परेशानी नहीं होने देंगे : एजेंसियों के साथ नगर निगम की टीम को भी निर्देश दिए हैं। अब बारिश थम गई है तो सड़कों पर जहां-जहां गड्‌ढे हैं, उन्हें ठीक करना शुरू करेंगे। इसके लिए हमने पूरा प्‍लान तैयार किया है। जनता को परेशानी नहीं होने देंगे।- पुष्यमित्र भार्गव, महापौर

सभी विभागों की जवाबदारी तय करेंगे : मैं आपसे पूरी तरह से सहमत हूं कि शहर की सडकें बदहाल हैं और जनता परेशान हो रही हैं। अभी हमने तय किया है कि प्रशासन के सभी विभागों की एक बैठक करेंगे, अधिकारियों को सामने बिठाएंगे। इसमें शहर की सडकों की जवाबदारी तय होगी। हर विभाग की जिम्‍मेदारी तय करेंगे।– सांसद, शंकर लालवानी, इंदौर

खराब सड़कों का संज्ञान लिया है : जहां जहां भी सड़कें खराब हैं या गड्ढों की समस्‍या है, वहां हमने त्‍वरित संज्ञान लिया है। विशेषकर राऊ विधानसभा क्षेत्र में आईपीएस, राजेंद्र नगर, अन्‍न्‍पूर्णा और पालदा आदि क्षेत्रों में महापौर और संबंधित विभागीय अधिकारियों के साथ निरीक्षण किया गया है। क्षेत्रवासियों से मिलकर उन्‍हें आश्‍वस्‍त किया गया है कि बेहतर सड़क, सुविधा उपलब्ध कराना हमारी सर्वोच्‍च प्राथमिकता में है। मधू वर्मा, विधायक राऊ विधानसभा।

15 दिनों में गड्ढे भर देंगे : एक प्‍लान किया जा रहा है। सड़कों पर गड्ढे न हो इसके लिए नई तकनीक पर काम किया जाएगा। अगले 15 दिनों में आपको शहर की किसी भी सड़क पर गड्ढे नजर नहीं आएंगे। हम गड्ढों वाली सड़कों को चिन्‍हित करेंगे और सुधार करेंगे। शहर की जनता को इस समस्‍या से निजात दिलाएंगे। - गोलू शुक्‍ला, विधायक, क्षेत्र क्रमांक- 3

इंदौर के मौत के गड्ढे
कोमा में गई महिला : 14 सितंबर 2024 को एबी रोड पर एमआइजी क्षेत्र में एक स्कूटर बीआरटीएस के बड़े गड्ढे में जाने से असंतुलित होकर दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। इस पर सवार कुलकर्णी नगर निवासी शानू गौड़ (23) सिर के बल नीचे गिरने के बाद बुरी तरह घायल हो गई थीं। महिला को अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां वह कोमा में चली गई थीं।

छात्रा की मौत : करीब 3 साल पहले रिंग रोड पर युवती की मौत हो चुकी है। भंवरकुआं थाना क्षेत्र में 26 सितंबर 2021 को पड़ियाल (धार) निवासी 21 वर्षीय छात्रा सरिता पुत्री गणेश रणदा की मौत हुई थी। रिंग रोड (विशेष अस्पताल के पास) बारिश का पानी भरा होने से स्कूटर का अगला पहिया उभरे गड्ढे में डूब गया। इस हादसे में सुजाता गंभीर घायल हुई थी। सिर में चोट आने के कारण सरिता की मौत हो गई।
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