1. एक salute उन सभी मातृशक्तियों को भी (including me ) जिन्होने बरतन , कपडे, झाड़ू पौछे, रसोई के भारी भरकम वर्क लोड के चलते भी, मजाल है एक दिन भी वाट्सएप और फेसबुक पे गैरहाजिरी लगाई हो
#जज्बा ऐसा होना चाहिए
2. मार्च में पैदा होने वाले बच्चों के नाम ...
सैनेटाइज़र मिश्र,
लाकडाऊन गुप्ता,
मास्क शुक्ला,
आइसोलेशन यादव,
वुहान सक्सैना,
ग्लब्स खान,
जनताकर्फ्यू पांडे,
कोरोना बंसल
क़वारेंटाइन कोठारी
सबसे बढिय़ा तो
मरकज अली
3. वो सुबह कभी तो आएगी...
जब बाई घंटी बजाएगी ।।
4. वातावरण बिल्कुल शांत है , पैसे की जरूरत नही
3 टाइम खा रहे है और अगर ऐसा ही रहा तो कपड़ों की जरूरत भी नही रहेगी
सिर्फ 2 बरमुड़े और 2 बंडीयों से पूरा साल निकल जाएगा....
वातावरण इतना साफ की कार्बन डाइऑक्साइड का नामो निशान नहीं और साफ ऑक्सीजन ही लेंगे तो बीमार भी नहीं पड़ेंगे ,
मृत्युदर तो ना के बराबर कोरोना से मरे तो मरे बाकी एक्सीडेंट से कोई नहीं मरेगा , सारे झगड़े फसाद खतम
न कोई प्रेम का चक्कर, न किसी को किसी पर शक, न शॉपिंग का चक्कर, न होटल या मूवी की फरमाइश......न घूमने जाने की जरूरत....न नई साड़ी की डिमांड न ज्वैलरी खरीदने की जिद्द सब कुछ ठीक ही चल रहा है
सही कहते थे लोग की राम राज आएगा
सच रामराज आ गया है...
5. 22 मार्च को घंटी बजा दी, 5 अप्रैल को दीया जला लेंगे और प्रसाद तो रोज पुलिस बांट ही रही है...
6.जिनको शिकायत थी,
कि नींद पूरी ना होने से डार्क सर्कल हो रहे हैं .. उनका सो सो के मुंह सूज चुका है...
7.सोनी टीवी वाले सूर्यवंशम नहीं दिखा रहे है,
क्योंकि हीरा ठाकुर की बसें बंद है
और
उसकी कलेक्टर पत्नी कोरोना नियंत्रण की ड्यूटी पर है।
8.हिन्दी अध्यापक - वैलेंटाइन का विलोम शब्द क्या है?
छात्र - क्वॉरेंटाइन!
अध्यापक- वो कैसे ?
छात्र - वैलेंटाइन में दो व्यक्ति चिपक कर बैठते हैं और क्वॉरेंटाइन में दूर - दूर बैठते हैं।
9.सभी दोस्तों से निवेदन है ...
कि वे अपने बाल काले करवा लें...
क्योंकि ...
स्थिति बिगड़ने पर सरकार......
बुढ्ढों का इलाज नहीं कराएगी ।
10.एक व्यक्ति कोरोना से मर गया.. परलोक जाकर प्रभु से पूँछा- “प्रभु हमको काहे नही बचाने आए?”
वो बोले - “गधे! कभी पीएम बनकर, कभी सीएम बनकर, कभी पुलिस बनकर कभी नगर निगम कर्मचारी बन कर 20 बार तुझे बताने के लिए आया था कि घर में बैठ जा, बच जाएगा। अब तू कौन सा अर्जुन है जो तुझे विराट रूप दिखाता!”