neck pain: आजकल की डिजिटल और तनावपूर्ण लाइफस्टाइल में गर्दन का दर्द यानी नेक पेन (Neck Pain) एक आम समस्या बन चुकी है। चाहे घंटों कंप्यूटर पर काम करना हो या मोबाइल पर लगातार झुके रहना, गर्दन की मांसपेशियाँ थकने लगती हैं और दर्द का कारण बनती हैं। शुरुआत में यह मामूली खिंचाव जैसा लगता है, जिसे लोग अक्सर नजरअंदाज कर देते हैं। लेकिन ध्यान रखें, यही मामूली-सा लगने वाला नेक पेन भविष्य में गंभीर न्यूरोलॉजिकल डिसऑर्डर या रीढ़ की हड्डी की जटिलता का संकेत भी हो सकता है।
अगर समय रहते इसका इलाज और बचाव नहीं किया गया, तो यह हाथों में कमजोरी, सिरदर्द, चक्कर या यहां तक कि लकवा (Paralysis) तक का कारण बन सकता है। इसलिए इस लेख में हम जानेंगे कि नेक पेन क्यों होता है, इसके लक्षण क्या हैं, यह कब जानलेवा बन सकता है, और किन उपायों से इससे बचाव संभव है।
नेक पेन के पीछे छुपे गंभीर कारण
नेक पेन केवल थकान या मसल टेंशन के कारण ही नहीं होता। इसके पीछे कई बार शरीर की गहरी समस्याएँ भी छिपी होती हैं। सबसे पहले जान लेते हैं इसके आम और गंभीर कारण:
1. पोस्चर संबंधी समस्याएं: लगातार झुककर बैठना या गलत तकिया उपयोग करना गर्दन पर दबाव बढ़ाता है।
2. सर्वाइकल स्पॉन्डिलाइटिस: उम्र बढ़ने या खराब लाइफस्टाइल के कारण गर्दन की हड्डियों में घिसाव शुरू हो जाता है, जिससे दर्द और जकड़न होती है।
3. डिस्क प्रोलैप्स या हर्निएशन: रीढ़ की हड्डी के बीच की डिस्क यदि खिसक जाए तो यह नसों पर दबाव डाल सकती है, जिससे गर्दन से लेकर हाथों तक दर्द और सुन्नता महसूस हो सकती है।
4. नर्व कम्प्रेशन: गर्दन में नसें दबने लगती हैं तो ब्रेन से शरीर के अन्य हिस्सों तक सिग्नल जाना रुक सकता है।
5. ट्रॉमा या चोट: अचानक एक्सीडेंट या गर्दन पर झटका लगना भी नेक इंजरी का कारण बन सकता है।
गर्दन दर्द के इन लक्षणों को न करें इग्नोर
अगर नेक पेन के साथ कुछ अतिरिक्त लक्षण भी दिखने लगें, तो यह संकेत हो सकता है कि मामला सिर्फ साधारण दर्द का नहीं, बल्कि गंभीर है:
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गर्दन के दर्द के साथ सिर में चक्कर आना या मतली
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हाथों में झुनझुनी, कमजोरी या सुन्नता
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चलने या संतुलन बनाने में कठिनाई
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आंखों के सामने अंधेरा छाना या धुंधलापन
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तेज बुखार के साथ गर्दन में अकड़न (संक्रमण का संकेत हो सकता है)
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दर्द का रात में बढ़ना और नींद में बाधा
इनमें से कोई भी लक्षण यदि नजर आए तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना जरूरी है, क्योंकि यह ब्रेन या स्पाइनल कॉर्ड से जुड़ी समस्या का भी संकेत हो सकता है।
नेक पेन को रोकने के प्रभावी उपाय
गर्दन के दर्द से बचने के लिए आपको अपनी दिनचर्या में कुछ सकारात्मक बदलाव करने होंगे:
सही पोस्चर अपनाएं: मोबाइल को आंखों की ऊंचाई पर पकड़ें, लैपटॉप या स्क्रीन को गर्दन की सीध में रखें।
आरामदायक कुर्सी और तकिया चुनें: वर्क फ्रॉम होम करते समय एर्गोनोमिक कुर्सी और ऑर्थोपेडिक तकिया इस्तेमाल करें।
हर 30 मिनट में ब्रेक लें: लंबे समय तक बैठे रहने की स्थिति में हर आधे घंटे में खड़े होकर हल्का स्ट्रेच करें।
गर्दन के लिए विशेष एक्सरसाइज करें: नेक रोल, साइड बेंड, और शोल्डर श्रग्स जैसी हल्की एक्सरसाइज़ करें।
गर्म पानी की सिकाई करें: यदि हल्का दर्द हो तो हॉट वॉटर बैग से सिकाई करें, इससे मांसपेशियों की जकड़न कम होती है।
तनाव कम करें: मेडिटेशन और गहरी सांस लेने वाले प्राणायाम तनाव को घटाते हैं जो गर्दन की मांसपेशियों को भी राहत देते हैं।
नेक पेन को हल्के में लेना पड़ सकता है भारी
अगर लगातार नेक पेन को अनदेखा किया जाए, तो यह आपकी दैनिक गतिविधियों को प्रभावित कर सकता है। कई मामलों में यह इतना गंभीर रूप ले लेता है कि मरीज को ऑपरेशन तक की नौबत आ जाती है। खासतौर पर जो लोग दिनभर कंप्यूटर या स्क्रीन पर काम करते हैं, बुजुर्ग, या रीढ़ की किसी पुरानी समस्या से जूझ रहे लोग, उन्हें इस पर विशेष ध्यान देने की ज़रूरत है।
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