दर्दनाक, बहन और उसकी चार बेटियों को ट्रेन से फेंका
सीतापुर। उत्तर प्रदेश के सीतापुर में एक व्यक्ति ने अपनी बहन और उसकी चार बेटियों को अमृतसर से सहरसा जाने वाली जननायक एक्सप्रेस से फेंक दिया जिससे मां-बेटी की मृत्यु हो गई। तीन घायलों का अस्पताल में उपचार चल रहा है।
राजकीय रेलवे पुलिस (जीआरपी) के अनुसार एक परिवार के साथ एक व्यक्ति ने अपने साथी के साथ मिलकर अपनी बहन और उसकी चार बेटियों को जान से मारने की नीयत से चलती ट्रेन से सीतापुर जिले में अलग-अलग स्थान पर जननायक एक्सप्रेस से फेंक दिया। पल-पल मोड़ लेते इस संगीन मामले में अब तक मां और एक बेटी का शव बरामद हो चुका है जबकि रामकोट इलाके में भवानीपुर रेलवे लाइन और उससे कुछ दूरी पर तीन बालिकाएं घायल अवस्था में मिली। घायल दो बहनों के बयान को आधार मानकर जीआरपी पुलिस ने बच्चियों के मामा और उसके साथी को आरोपी बनाया है।
उन्होंने बताया कि बुधवार दोपहर रमईपुर हाल्ट के निकट एक बालिका का शव बरामद हुआ था, वहीं इस मामले में एक कड़ी उस वक्त और जुड़ गयी जब कल देर रात महमूदाबाद क्षेत्र के बुलरामऊ गांव के निकट एक और बालिका खून से लथपथ बरामद हुई। लखीमपुर खीरी जिले के मैगलगंज के ग्राम खररा के निकट रेलवे लाइन पर आज एक अधेड़ महिला का शव बरामद हुआ।
महमूदाबाद, रामकोट और मानपुर पुलिस ने जब जीआरपी और शहर कोतवाली पुलिस से सम्पर्क साधा तो इस मामले की सारी कड़ियां जुड़ती चली गईं। बालिका और महिला की शिनाख्त ट्रेन से फेंकी गई महिला और उसकी बेटी के रूप की गई।
इस बीच, लखनऊ के पुलिस अधीक्षक (रेलवे) सौमित्र यादव अपनी टीम के साथ सीतापुर पहुंचे और सदर अस्पताल में भर्ती बालिकाओं से पूछताछ की। घायल बालिकाओं ने अपना नाम अल्बुन (6) और चार साल की सलीना बताया। घायल बालिकाओं ने आफरीन खातून को अपनी मां के रूप में पहचाना है।
यादव के निर्देश पर जीआरपी के थाना प्रभारी ने बच्चियों के बयान के आधार पर उसके मामा इकबाल और उसके साथी इजहार के विरुद्ध मुकदमा पंजीबद्ध कर लिया है। पुलिस हत्या के आरोपी मामा, उसके साथी और बच्चियों के पिता की तलाश कर रही है। अल्बुन के मुताबिक मोतिहारी के छौड़िया गांव में उसका घर है, वहीं बेतिया के क्षेत्र में उसका ननिहाल है। (वार्ता)