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Written By Author सुरेश डुग्गर
Last Modified: शुक्रवार, 26 अक्टूबर 2018 (17:57 IST)

फिर होगा जम्मू कश्मीर 8 दिनों के लिए 'राजधानीविहीन', साल में 18 दिन बिना राजधानी के रहता है राज्य

फिर होगा जम्मू कश्मीर 8 दिनों के लिए 'राजधानीविहीन', साल में 18 दिन बिना राजधानी के   रहता है राज्य - Jammu Kashmir Srinagar
श्रीनगर। आपने शायद सुना नहीं होगा कि कोई राज्य राजधानीविहीन भी होता है। यह पूरी तरह से सच है। जम्मू-कश्मीर साल में करीब 18 दिन बिना राजधानी वाला राज्य उस समय हो जाता है, जब यहां पर 'दरबार मूव' होता है।
 
 
दरअसल, हर 6 माह बाद गर्मियों में जम्मू से श्रीनगर और श्रीनगर से जम्मू की ओर जब राज्य की राजधानी बदलने की प्रक्रिया होती है, तब राज्य का कोई भी शहर राजधानी नहीं कहलाता, क्योंकि राजधानी मूव में होती है और ऐसा करीब 18 से 20 दिनों तक होता है।
 
हालांकि इस बार सरकारी तौर पर शनिवार, 27 अक्टूबर को मूव कार्यालय बंद होने हैं। 27 अक्टूबर से राजधानी मूव में होने जा रही है, क्योंकि रियासत में 'दरबार मूव' की परंपरा के तहत 27 अक्टूबर को स्थानीय सचिवालय में कामकाज बंद जाएगा। अगले हफ्ते रिकॉर्ड लोडिंग कर एसआरटीसी के ट्रकों का काफिला जम्मू की ओर मूव करना आरंभ कर देगा। अधिकतर स्टाफ भी रिकॉर्ड की पैकिंग को अंतिम नजर देने में व्यस्त हो जाएगा।
 
अब आगामी 5 नवंबर को जम्मू स्थित सचिवालय में सरकार का दरबार सजेगा और विभागीय कामकाज शुरू होगा। पुलिस के सुरक्षा विंग और सचिवालय की सुरक्षा में तैनात सुरक्षाकर्मियों को जांच के लिए विभागीय अधिकारियों ने सामान सौंप दिया था।
 
सचिवालय में कामकाज बंद होने के बाद जम्मू डिवीजन के कर्मचारी जम्मू की तरफ रवाना हो जाएंगे। इनकी रवानगी के लिए एसआरटीसी की तरफ से विशेष बसों की व्यवस्था की जा रही है। कश्मीर डिवीजन के सचिवालय कर्मचारियों की जम्मू रवानगी के लिए 31 अक्टूबर को वाहनों की व्यवस्था की गई है और श्रीनगर-जम्मू राजमार्ग पर यातायात को एकतरफा कर दिया गया है, क्योंकि सरकार 'दरबार मूव' की प्रक्रिया में कोई खलल नहीं चाहती। हालांकि खलल की आशंका के चलते सुरक्षा प्रबंध भी कड़े किए गए हैं।
 
इतना जरूर था कि शीतकालीन राजधानी जम्मू में स्थित सचिवालय के कमरे, कुर्सियां, मेज चकाचक दिखने लगे हैं। फाइलों की संख्या बढ़ रही है। सफाईकर्मी लगन से अपने काम में जुटे हैं। हर रोज सचिवालय खुलता है और अपने-अपने विभागों के कर्मी छोटी से छोटी जरूरत पर खासा ध्यान देते हुए दिखते हैं। सड़कों पर रंगरोगन चल रहा है। स्ट्रीट लाइटें ठीक हो रही हैं। ट्रैफिक पुलिस की सख्ती दिनोदिन बढ़ रही है। 'दरबार मूव' का बेसब्री से इंतजार हो रहा है।
 
सरकारी आवासों पर भी कुछ कर्मियों की धमक पहले से ही नजर आ रही है। हाईवे को कड़ी सुरक्षा के घेरे में लिया गया है। थ्रीटीयर सिक्योरिटी हर रोज डिटेक्टरों से सड़क को खंगालने का काम चल रहा है। जम्मू-कश्मीर पुलिस ने अगले कुछ दिनों के लिए हाईवे को एकतरफा करने की घोषणा की है ताकि एडवांस पार्टी को कड़ी सुरक्षा के बीच जम्मू पहुंचाया जा सके।
 
उधर खुफिया सूचनाओं के बाद संवेदनशील इलाकों में सर्च अभियान तेज किए गए हैं। इसके अलावा संदिग्धों की धरपकड़ के भी कड़े निर्देश दिए जा चुके हैं। आईजी जम्मू रेंज का कहना है कि 'दरबार मूव' को लेकर थाना व चौकियों को अलर्ट जारी किया गया है।
 
उन्होंने कहा कि इस बार कोई भी ढील बर्दाश्त नहीं की जाएगी। 'दरबार मूव' के लिए आपात बैठक में गंभीरता से इस बारे में निर्णय लिया गया है। सचिवालय की चौकसी भी बढ़ गई है। उधर अवाम भी अपने नुमाइंदों का बेसब्री से इंतजार कर रही है ताकि 6 महीने के रुके कामकाज को जल्द निपटाया जा सके।
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