क्या है Karnataka Ex DGP ओमप्रकाश हत्याकांड का सच, कौन करता था किसको टार्चर, बेरहमी से कत्ल का क्या है राज
एक्स डीजीपी की पत्नी और बेटी पर कत्ल का आरोप है। दोनों को गिरफ्तार कर लिया गया है। पत्नी पल्लवी ने पूछताछ में कहा कि सेल्फ डिफेंस में उसने पति की हत्या की है। मामले की जांच सीसीबी को सौंपी गई है।
Ex DGP Om Prakash Murder case News : बिहार के रहने वाले कर्नाटक के पूर्व पुलिस महानिदेशक (Karnataka Ex DGP) ओम प्रकाश की हत्या के मामले में खौफनाक खुलासे हो रहे हैं। हत्याकांड को लेकर जो बातें जांच में सामने आ रही हैं, वे रोंगटे खड़े करने वाला है। एक्स डीजीपी की पत्नी और बेटी पर कत्ल का आरोप है। दोनों को गिरफ्तार कर लिया गया है। पत्नी पल्लवी ने पूछताछ में कहा कि सेल्फ डिफेंस में उसने पति की हत्या की है। मामले की जांच सीसीबी को सौंपी गई है।
ओमप्रकाश अक्सर पिस्टल दिखाकर जान से मारने की धमकी देते थे। सूत्रों के अनुसार दंपति के बीच अक्सर झगड़ा होता रहता था। हालांकि बेटे ने आरोप लगाया कि मां और बहन उसके पिता को टॉर्चर करते थे। ओम प्रकाश को 1 मार्च 2015 को कर्नाटक का पुलिस महानिदेशक नियुक्त किया गया था।
दोस्त को वीडियो कॉल कर कहा- मैंने राक्षस को मार डाला
बिहार के रहने वाले 1981 बैच के भारतीय पुलिस सेवा अधिकारी ओम प्रकाश रविवार को बेंगलुरु स्थित अपने आवास में मृत पाए गए थे। उनका शव एचएसआर लेआउट स्थित उनके तीन मंजिला आवास के भूतल पर खून से लथपथ मिला। सूत्रों ने कहा कि तीखी बहस के बाद पल्लवी ने प्रकाश के चेहरे पर मिर्च पाउडर फेंक दिया था। सूत्रों ने बताया कि प्रकाश जलन के कारण इधर-उधर भागने लगे, तभी पल्लवी ने उन पर चाकू से कई वार किए जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई। उन्होंने दावा किया कि इसके बाद पल्लवी ने अपने दोस्त को वीडियो कॉल' किया और कहा कि मैंने राक्षस को मार दिया है।
यह जमीन विवाद और मानसिक बीमारी
यह भी बताया जा रहा है कि इस अपराध के पीछे की एक वजह कर्नाटक के दांदेली में स्थित एक जमीन को लेकर विवाद भी था। पल्लवी ने कुछ महीने पहले एचएसआर लेआउट पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराई थी। सूत्रों ने दावा किया कि जब वहां के पुलिसकर्मियों ने उसकी बात नहीं मानी तो उसने पुलिस थाने के सामने धरना दिया था। जांच में यह भी पता चला है कि पल्लवी को 'सित्जोफ्रेनिया' (एक गंभीर किस्म का मानसिक विकार) नामक बीमारी थी और वह उसकी दवा भी ले रही थी। इनपुट एजेंसियां Edited by: Sudhir Shama