ओशो की जयंती 'आनंद उत्सव' के रूप में मनाई
रायसेन (मप्र)। आध्यात्मिक गुरु ओशो (आचार्य रजनीश) की जयंती पर रविवार को उनके सैकड़ों अनुयायी रायसेन जिले स्थित उनकी जन्मस्थली कुचवाड़ा में एकत्रित हुए और इसे 'आनंद उत्सव' के रूप में मनाया।
ओशो की जयंती मनाने के लिए मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल से लगभग 140 किलोमीटर दूर कुचवाड़ा में भारत के अलावा जापान, चीन, अमेरिका, श्रीलंका, ऑस्ट्रेलिया, कनाडा एवं अन्य देशों से उनके लगभग 200 अनुयाई आए हुए हैं।
जयंती के लिए कुचवाड़ा में डेरा डाले ओशो के अनुयाई स्वामी सहज ने बताया, भारत एवं विदेशों से आए हुए ओशो के अनुयायी तीन दिवसीय ‘ध्यान शिविर’ में कुचवाड़ा में भाग ले रहे हैं। उन्होंने अपने आध्यात्मिक गुरु ओशो को आज उनकी जयंती पर याद किया और उन्हें श्रद्धांजलि दी।
एकत्रित अनुयायियों ने उनकी जयंती को हंसते-गाते, नाचते-झूमते एवं मोमबत्ती जलाकर हर्ष-उल्लास के साथ मनाया। रजनीश के एक अन्य अनुयाई स्वामी चैतन्य कीर्ति ने वर्तमान में ओशो की प्रासंगिकता के संबंध में कहा, वर्तमान में मनुष्य की चेतना में संकट है। पूरे विश्व में उथल-पुथल है। ऐसे में ओशो का ज्ञान-ध्यान काफी मददकारी हो सकता है। (भाषा)