भगवान यशोदा लाल की आरती | Yashoda ji Ka Lala aarti
Shri krishna janmashtami ki aarti भगवान श्रीकृष्ण की बहुत सारी आरती प्रचलित हैं। उनके बालरूप की आरती भी ब्रजमंडल में बहुत प्रसिद्ध है। श्रीकष्ण की माता का नाम देवकी है परंतु उन्हें यशोदा मैया ने पाला है। उन्हें यशोदा का लाल कहते हैं। पढ़िये आरति करत यसोदा प्रमुदित यानी भगवान यशोदा लाल की आरती।
आरति करत यसोदा प्रमुदित,
फूली अंग न मात।
बल बल कहि दुलरावत,
आनंद मगन भई पुलकात।।
सुबरन-थार रत्न-दीपावलि,
चित्रित घृत-भीनी बात।
कल सिंदूर दूब दधि अच्छत,
तिलक करत बहु भांत।।
अन्न चतुर्विध बिबिध भोग,
दुंदुभी बाजत बहु जात।
नाचत गोप कुंकुमा छिरकत,
देत अखिल नगदात।।
बरसत कुसुम निकर-सुर-नर-मुनि,
व्रजजुवती मुसकात।
कृष्णदास-प्रभु गिरधर को (श्री)मुख,
निरख लजत ससि-कांत।।