सावन सोमवार को शिवजी को किस समय, कैसे और किस दिशा में मुंह करके जलाभिषेक करें?
sawan somvar 2025 shivling : श्रावण मास के सोमवार को शिवलिंग का जलाभिषेक, पंचामृत अभिषेक और रुद्राभिषेक करने का महत्व है। यदि आप जलाभिषेक कर रहे हैं तो जानिए कि किस समय, किधर मुंह करके किस तरह से जलाभिषेक करना चाहिए। नियम से जलाभिषेक करने से ही इसका पुण्यफल मिलता है। नियम से नहीं करें तो फिर मन में अगाथ श्रद्धा होना जरूरी है।
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दिशा:- शिवलिंग पर जल अर्पित करते समय भक्त का मुंह उत्तर या ईशान दिशा की ओर होना चाहिए क्योंकि उत्तर दिशा देवी और देवाताओं की दिशा है और ईशान दिशा शिवजी की दिशा है। पूर्व और पश्चिम दिशा में मुख करके भी जल चढ़ा सकते हैं परंतु अन्य दिशा में मुख करके जल न चढ़ाएं।
जलाभिषेक का तरीका:-
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शिवलिंग पर जल चढ़ाने के लिए तांबे या पीतल के लोटे का उपयोग करें।
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शिवलिंग पर जल हमेशा दाएं हाथ से ही चढ़ाएं और बाएं हाथ को दाएं हाथ से स्पर्श करें।
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शिवलिंग पर जल को धीरे धीरे चढ़ाना चाहिए एकदम से नहीं।
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एक छोटी धारा के रूप में जल चढ़ाया जाना चाहिए।
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जल चढ़ाने के बाद शिवलिंग की बिल्वपत्र रखें।
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बिल्वपत्र रखने के बाद ही शिवलिंग की अधूरी परिक्रमा करें।
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शिवलिंग पर कभी भी शंख से जल न चढ़ाएं।
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शिवलिंग पर जल कभी भी एक हाथ से अर्पित न करें।