क्या दूर होगी भाजपा और शिवसेना के बीच की कड़वाहट...
मुंबई। बृहनमुंबई महानगर पालिका (बीएमसी) चुनावों में कोई स्पष्ट विजेता सामने नहीं आया ऐसे में एक बार फिर भाजपा और शिवसेना के बीच गठबंधन की संभावना को लेकर कयासबाजी तेज हो गई है। बीएमसी चुनावों में शिवसेना को 84 तो भाजपा को 82 सीट मिली हैं। भाजपा के एक वरिष्ठ नेता ने कहा कि दोनों दलों को मुंबई में हाथ मिला लेना चाहिए।
देवेंद्र फडणवीस मंत्रिमंडल में मंत्री चंद्रकांत पाटिल ने कहा, 'बहुत हुई कड़वाहट। अब यह फिर से साथ आने का समय है।' पाटिल का बयान इस बात का संकेत है कि एक दूसरे से लड़े ये दोनों पूर्व सहयोगी खंडित जनादेश के बाद फिर से साथ आ सकते हैं।
केंद्रीय भाजपा नेतृत्व के साथ अच्छे रिश्ते रखने वाले पाटिल ने कहा, 'दोनों पार्टियों के हिस्सों में आई सीटों को देखते हुए क्या दोनों पार्टियों के साथ आने के अलावा कोई विकल्प बचा है? क्या वो (शिवसेना) कांग्रेस का समर्थन लेंगे?'
पाटिल ने कहा, 'कांग्रेस को साथ लेने जैसी अव्यहारिक चीजों में शामिल होने के बजाए दोनों दलों को ऐसी चीज करनी चाहिए जो व्यवहारिक हो और मुंबई को चलाने के लिए साथ आना चाहिए।'
मंत्री ने कहा कि देवेंद्र फडणवीस और उद्धव ठाकरे को सत्ता की साझेदारी के बारे में फैसला करना चाहिए। दोनों अच्छे दोस्त हैं। पाटिल का ये बयान तब आया है जब भाजपा प्रवक्ता माधव भंडारी ने कहा कि पार्टी अपने प्रदर्शन के कारणों का आत्म विश्लेषण करेगी। पार्टी ने कहा कि ये उम्मीद के मुताबिक नहीं हैं।
वहीं भाजपा नेता और राज्य के शिक्षा मंत्री विनोद तावड़े ने कहा कि उनकी पार्टी 10 नगरपालिका परिषदों और 25 जिला परिषदों में विजेता बनकर उभरी है। (भाषा)