दंतेवाड़ा। छत्तीसगढ़ के बस्तर संभाग में नक्सलियों द्वारा किए जाने वाले हमलों को विफल करने के लिए इन दिनों जवान कैंप में बंदूकों के साथ ही खाली पड़ी बोतलों का उपयोग करते हैं।
कोई भी फेंसिंग से कैंप में घुसने का प्रयास करता है तो बोतलों के आपस में टकराने की आवाज आती है। इससे मोर्चे पर तैनात संतरी पहले से अधिक अलर्ट हो जाते हैं। जिस ओर से आवाज आती है उस ओर जवानों द्वारा पूरी तस्दीक की जाती है।
सूत्रों ने बताया कि दंतेवाड़ा जिले में 40 से अधिक जगहों पर तैनात सुरक्षा बलों के शिविरों में सैकड़ों खाली बोतलों को फेंसिंग पर लटकाया है। कंटीले तारों पर खाली बोतलों की जवानों की सुरक्षा में अहम भूमिका है।
समेली में तैनात सीआरपीएफ 111 सी कंपनी के सहायक कमाडेंट रवि खत्री ने बताया कि बोतल संतरी को अलर्ट करने का काम करती है। कहीं से कोई भी घुसपैठिया या जानवर फेंसिंग से अंदर आने की कोशिश करेगा तो चारों तरफ लगी बोतल तार के हिलने से बजने लगेंगी। (वार्ता)