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Last Updated : मंगलवार, 19 अक्टूबर 2021 (16:54 IST)

#BoycottFabIndia के बाद कंपनी ने हटाया कपड़ों का विज्ञापन, दीवाली को ‘जश्‍न ए रिवाज’ कहा तो हुआ था विरोध

#BoycottFabIndia के बाद कंपनी ने हटाया कपड़ों का विज्ञापन, दीवाली को ‘जश्‍न ए रिवाज’ कहा तो हुआ था विरोध - Fabindia, Deepavali, Jash-e-Riwaaz
FabIndia ने दीवाली को बताया ‘जश्न-ए-रिवाज’, तो सोशल मीडिया पर ट्रेंड करने लगा फिर हटाना पड़ा विज्ञापन
ट्व‍िटर जैसा सोशल मीडि‍या प्‍लेटफॉर्म अब बायकॉट का ठि‍काना बन गया है। रोज किसी न किसी का व‍िरोध यहां देखने को मिलता है।

फि‍लहाल फैबइंडिया का सोशल मीडिया पर जमकर ट्रोल किया गया। उसने दिवाली के लिए अपने नए कलेक्शन का प्रचार किया था, जिसमें दीवाली को जश्‍न ए रिवाज के नाम से प्रचारित किया जा रहा था। हालांकि अब उसने अपने ट्वीट को हटा दिया है।

FabIndia ने दीवाली को ‘जश्न-ए-रिवाज’ बताने के बाद सोशल मीडिया पर #BoycottFabIndia, ट्रेंड कर रहा था। विरोध के बाद उसे विज्ञापन हटाना पड़ा है।

दरअसल फैबइंडिया के विज्ञापन को यूजर्स ने सोशल मीडिया पर जमकर ट्रोल किया। उनका कहना था कि दीवाली के लिए अपने नए कलेक्शन का प्रचार में हिंदू त्‍योहार को विकृत करने वाला है। ब्रांड ने दीवाली जैसे हिंदू त्योहार को विकृत करने और इसे जश्न-ए-रिवाज़ करार देने का आरोप लगाया गया था।

कई लोगों ने हिंदू त्योहार में धर्मनिरपेक्षता और मुस्लिम विचारधाराओं को अनावश्यक रूप से ऊपर उठाने के लिए ब्रांड की आलोचना की है।

हटाए गए सोशल मीडिया पोस्ट में लिखा था-

"रेशम की सरसराहट... ज़री की चमक. गहनों की चमक... बालों में फूलों की महक. मिठाई की मिठास और घर वापसी की खुशियां. उत्सव की शुरुआत 'जश्न-ए-रिवाज़" से करें.

ब्रांड के विज्ञापन अभियान में लिखा है, "जैसा कि हम प्यार और प्रकाश के त्योहार का स्वागत करते हैं, फैबइंडिया द्वारा जश्न-ए-रिवाज़ एक ऐसा संग्रह है जो भारतीय संस्कृति को खूबसूरती से दर्शाता है"

हालांकि दुर्व्यवहार का सामना करते हुए, फैबइंडिया ने अब विज्ञापन हटा लिया है और एक स्पष्टीकरण जारी किया है।

इसे लेकर कई लोगों ने विरोध जताया। तेजस्‍वी सूर्या ने फैबइंडिया पर हमला किया, उन्‍होंने लिखा, क्योंकि वापस लिए गए विज्ञापन में मॉडल स्पष्ट रूप से "हिंदू परंपरा के कपड़े" नहीं पहने हुए थे।

सूचना प्रौद्योगिकी उद्योग के दिग्गज टीवी मोहनदास पई ने सूर्या के संदेश को रीट्वीट किया, उन्होंने कहा, "हां बिल्कुल सच है, फैबइंडिया जानबूझकर ऐसा कर रहा है और उपभोक्ताओं को इस दुरुपयोग का विरोध करना चाहिए।

कुछ ट्विटर यूजर्स ने लोगों से फैबइंडिया का बहिष्कार करने की भी मांग की। अंततः ब्रांड को विज्ञापन वापस लेने और माफी जारी करने के लिए मजबूर होना पड़ा। फोटो: ट्व‍िटर
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