क्या कांग्रेस को संकट से उबार पाएंगी सोनिया गांधी, जानिए 10 खास बातें
नई दिल्ली। कांग्रेस कार्यसमिति ने शनिवार देर रात पार्टी की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी को सर्वसम्मति से अंतरिम अध्यक्ष बनाने का फैसला लिया। सोनिया गांधी ने इसे स्वीकार कर लिया है। अब उनके सामने सबसे बड़ी चुनौती बिखरी बिखरी सी नजर आ रही कांग्रेस को फिर एकजुट करना है, जानिए 10 खास बातें...
- सोनिया का जन्म 9 दिसंबर 1946 को वैनेतो (इटली) क्षेत्र में विसेन्जा से 20 किमी दूर स्थित एक छोटे से गांव लुसियाना में हुआ था।
- 1968 में राजीव गांधी के साथ विवाह होने के काफी समय बाद उन्होंने 1983 में भारतीय नागरिकता स्वीकार की।
- राजीव गांधी की हत्या होने के बाद कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने सोनिया से पूछे बिना उन्हें कांग्रेस का अध्यक्ष बनाए जाने की घोषणा कर दी, परंतु सोनिया ने इसे स्वीकार नहीं किया और कभी भी राजनीति में नहीं आने की कसम खाई थी।
- कांग्रेस को बचाने के लिए ही 1997 में पार्टी में आई थीं और 1998 में कांग्रेस की कमान संभाली थीं।
- राजनीति में कदम रखने के बाद उनका विदेश में जन्म होने का मुद्दा उठाया गया। उनकी कमजोर हिन्दी को भी मुद्दा बनाया गया।
- सोनिया गांधी अक्टूबर 1999 में बेल्लारी (कर्नाटक) से और अमेठी (उत्तरप्रदेश) से लोकसभा के लिए चुनाव लड़ीं और करीब 3 लाख वोटों की विशाल बढ़त से विजयी हुईं और 13वीं लोकसभा में वे विपक्ष की नेता चुनी गईं।
- सोनिया के नेतृत्व में कांग्रेस ने 2004 में सत्ता में वापसी करने में सफल रही थी।
- 2019 में कांग्रेस यूपी में केवल एक ही सीट (रायबरेली) बचाने में सफल रही। इस सीट पर सोनिया गांधी ने एक बार फिर कब्जा जमाया।
- कश्मीर में धारा 370 खत्म करने संबंधी मोदी सरकार के फैसले से कांग्रेस में 2 फाड़ हो गई है। सोनिया के सामने सबसे बड़ी चुनौती पार्टी के बिखराव को रोकना है।
- कांग्रेस में युवा चेहरों और अनुभवी नेताओं के बीच खाई लगातार बढ़ती जा रही है। मध्यप्रदेश, राजस्थान, पंजाब आदि राज्य जहां कांग्रेस की सरकारे हैं, वहां नेताओं में मनभेद स्पष्ट दिखाई देता है।