मंगलवार, 19 नवंबर 2024
  • Webdunia Deals
  1. मनोरंजन
  2. गुदगुदी
  3. हास्य व्यंग्य
  4. when someone fakes being busy on mobile
Written By निवेदिता भारती

जब कोई मोबाइल पर बिज़ी होने का करे ढोंग

जब कोई मोबाइल पर बिज़ी होने का करे ढोंग - when someone fakes being busy on mobile
मोबाइल काम का है इसमें कोई दोराय नहीं लेकिन कई बार ये ऐसे ऐसे काम आता है कि क्या कहने। आपको लगता है शुक्र है मोबाइल हाथ में था तो बच गए। नहीं यहां किसी सीरियस मुश्किल की घड़ी की बात नहीं हो रही बल्कि ऐसे मौकों का ज़िक्र है जब मोबाइल ने आपको कहीं फंसने से बचा लिए।
 
1. जब रेस्टोरेंट में उसने कराया इंतजार : ये इंतज़ार बड़ी बेदर्द चीज़ है। आप कहीं न कहीं किसी के लिए इंतज़ार करते हैं। ऐसे में मोबाइल हाथ में से इंतजार का कष्ट तो कम होता ही है आपको लोग बेचारा भी नहीं समझते।  
 
2. जब उसे करना था इग्नोर : ऐसे इग्नोर मारना थोड़ा मुश्किल है लेकिन अगर मोबाइल हाथ में है तो आपको न देखने और सुनने का लायसेंस मिल जाता है। वो चिल्लाता रहा पर आप तो मोबाइल में लगे थे।  
 
3. रिश्तेदारों से पीछा छुड़ाना : रिज़ल्ट का दौर सिर पर है। एक के एक बाद आपने इग्ज़ाम दी और रिश्तेदारों का तो चैन ही खत्म हो गया। आपका रिजल्ट जानना उनकी ज़िंदगी का आखिरी मकसद बन गया। ये तो घर ही आ धमके तो अब तो मोबाइल हाथ में लिए उनके ठीक सामने से आप बात करते हुए निकल गए। बेकार के सवालों से बचने का इससे अच्छा रास्ता नहीं मिलेगा।   
 
4. कहीं अर्जेंट में निकलना है :  हे भगवान! ये बहुत पका रहा है। आधा घंटे से सिर खा रहा है। थैंक यू भगवान मोबाइल हाथ था। जब बहुत हो गया तो कह दिया अब मुझे निकलना है। अभी अभी मैसेज आया सॉरी। 
 
5. जब कपल के साथ बुरे फंसे : तीन तिगाड़ा काम बिगाड़ा। उन दोनों का जोड़ा और आपकी फजीहत। जब प्लान बना तब ये सीन नहीं था। आपके साथ वो आना था लेकिन अब क्या लास्ट मोमेंट पर धोखा। मुझे भी देख लो मैं भी हूं यहां। चलो अब मोबाइल में सिर घुसा लिया मैंने तो। 
 
ये तो अक्सर आने वाले सीन हैं। हो सकता है आपको किसी और मौके पर मोबाइल ने बचाया हो। बता ही दीजिए छुपाइए मत कोई शर्म की बात थोड़ी है।  
 
ये भी पढ़ें
काला करिकालन : फिल्म समीक्षा