वीआईपी बनकर गया, इस तरह किया आईटी कंपनी पर कब्जा
हैदराबाद। 27 वर्षीय एक युवक ने वीआईपी होने का नाटक करके शहर की एक सॉफ्टवेयर कंपनी के दो निदेशकों को डरा धमका कर उनकी कंपनी पर कब्जा कर लिया। सिकंदराबाद पुलिस ने मुख्य आरोपी वम्शी राव और आईटी कंपनी के प्रोजेक्ट मैनेजर वम्शीधर को गिरफ्तार कर लिया है।
सिकंदराबाद पुलिस ने एक विज्ञप्ति में कहा कि नौकरी ढूंढ रहे दो लोगों ने हाल में राव से संपर्क किया था और उसे बताया था कि उन्होंने नौकरी के लिए कंपनी को डेढ़ लाख रुपए दिए थे, लेकिन इसके बावजूद उन्हें नौकरी नहीं दी गई। उन्होंने पैसे वापस लेने की कोशिश की और इसके लिए वे राव के पास गए।
विज्ञप्ति में कहा गया है कि राव आसानी से धन हासिल करने के लिए वीआईपी होने का नाटक करते हुए कंपनी के अधिकारी से मिला। पिछले सप्ताह, वह नीली बत्ती की गाड़ी में बैठकर कंपनी पहुंचा और उसने दोनों निदेशकों से बातचीत की।
पुलिस ने बताया कि इसके बाद उसने निदेशकों को बंदूक दिखाकर डराया और इस मामले को निपटाने के लिए उनसे 10 लाख रुपए मांगे। निदेशकों ने उसे पांच लाख रुपए दिए।
इसके बाद वम्शीधर और उसके दो अन्य मित्रों ने राव के साथ साठगांठ की। उन्होंने कंपनी का अधिग्रहण कर लिया और दोनों निदेशकों को कार्यालय में बंद करके कंपनी के खातों को अपने कब्जे में ले लिया।
पुलिस ने बताया कि इसके बाद आरोपियों ने दोनों अधिकारियों को बाध्य किया कि वे अपने कर्मियों को ई-मेल भेजें, जिसमें कहा गया था कि उन्होंने नौकरी से इस्तीफा दे दिया है और राव एवं वम्शीधर नए निदेशक हैं।
उन्होंने बताया कि शिकायत मिलने के बाद पुलिस ने मामला दर्ज किया और राव तथा वम्शीधर को गिरफ्तार किया। उनके दो अन्य साथी फरार हैं।
पुलिस ने बताया कि आरोपियों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धाराओं 420 (धोखाधड़ी), 342 (गलत तरीके से कैद रखना) और शस्त्र कानून की प्रासंगिक धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। मामले की जांच जारी है। (भाषा)