मेघालय के इन 2 झरनों को एक बार देखने जरूर जाएं
मेघालय भारत का उत्तर-पूर्वी राज्य है। मेघालय में देखने लायक सैकड़ों टूरिज्म स्पॉट है। मेघालय बादलों, बारिश और झरनों का राज्य है। यहां की राजधानी शिलॉन्ग है। मेघालय में यूं तो सैंकड़ों झरने हैं परंतु यहां के सबसे बड़े और खूबसूरत झरने हैं- नोहकालीकई और लांगशिआंग।
1. र्नोहकालीकई झरना : नोहकालीकई झरना पूर्वोत्तर भारत के मेघालय राज्य में पूर्वी खासी हिल्स जिला में स्थित है। यह लगभग 340 मीटर ऊंचा है और यहां 12 माह ही बारिश होती रहती है क्योंकि यहां पर मौजूद है चेरापूंजी जहां पर भारत में सबसे ज्यादा बारिश रिकॉर्ड की जाती है। इसलिए यहां का मौसम हमेशा ही सुहावना बना रहता है। निरंतर बारिश की वजह से यहां का झरना हमेशा ही बहता रहता है।
2. लांगशिआंग झरना : मेघालय में ही इसके अलावा लांगशिआंग झरना है जो लगभग 337 मीटर ऊंचा है। यह पश्चिमी खासी हिल्स जिला में स्थित है। यह झरना ऊंची खांसी पहाड़ी और जंगली रास्तों से नीचे की ओर गिरता है। इसके अलावा नोह्स्न्गीतीआंग झरना पूर्वी खासी हिल्स जिला में स्थित है। यह लगभग 315 मीटर ऊंचा है। इस झरने को सेवेन सिस्टर वाटरफॉल या मांसमाई फॉल के नाम से भी जाना जाता हैं क्योंकि यह झरना सात भागों में बंटा हुआ है जो मांसमाई गांव से लगभग 1 किलोमीटर दूर है। एक अन्य झरना काईनरेम झरना मेघालरय के चेरापूंजी में ही पूर्वी खासी हिल पर एक और झरना है जो लगभग 305 मीटर ऊंचा है। चेरापूंची से लगभग 12 किलोमीटर दूर यहां पर थांगखारंग पार्क भी मौजूद है। क्यन्रएं झरना भी यहां मौजूद है।