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Written By WD Feature Desk
Last Modified: गुरुवार, 20 फ़रवरी 2025 (17:43 IST)

होली का डांडा कब गाड़ा जाएगा और होलाष्टक कब से हो रहा है प्रारंभ?

होली का डांडा कब गाड़ा जाएगा और होलाष्टक कब से हो रहा है प्रारंभ? - holashtak 2025 start time
holi danda Holika Dahan 2025: घरों के बाहर चौराहे पर होलिका दहन के पहले होली का डांडा गाड़ा जाता है। इसी दिन से होला अष्टक भी प्रारंभ हो जाता है। हालांकि कई जगहों पर इससे पहले ही डांडा गाड़ा जाता है। होली का डांडा गाड़े जाने का अर्थ है कि अब से होलिका उत्सव प्रारंभ होता है और फिर होलिका दहन के दूसरे दिन रंगों वाली होली खेली जाती है। इस बार 13 मार्च 2025 को होलिका दहन होगा और 14 मार्च को होली खेली जाएगी।ALSO READ: होली पर चंद्र ग्रहण से किन 3 राशियों पर होगा इसका नकारात्मक प्रभाव?
 
1. होली का डांडा: 7 मार्च 2025 को होली का डंडा गाड़ा जाएगा। होली के उत्सव का पहला काम होली का डंडा या डांडा चौराहे पर गाड़ना होता है। होली का डंडा एक प्रकार का पौधा होता है, जिसे सेम का पौधा कहते हैं। भारत में कई जगह तो फाल्गुन मास प्रारंभ होते ही होली का डांडा रोपड़ कर होली उत्सव का प्रारंभ हो जाता है तो कई जगहों पर होलाष्टक की शुरुआत में डांडा रोपणकर इस उत्सव की शुरुआत की जाता ही। कई जगह पर माघपूर्णिमा के दिन से ही होली का डांडा रोप दिया जाता है। हालांकि अब अधिकांश जगह यह डांडा होलिका दहन के एक दिन पूर्व ही रोपण कर खानापूर्ति की जाती है। जबकि असल में यह डांडा होली से ठीक एक महीने पहले माघ पूर्णिमा को रोपण होता है या होलाष्टक के प्रारंभ होने पर। इस डांडे के आसपास लकड़ी और कंडे जमाकर रंगोली बनाई जाती और फिर विधिवत रूप से होली की पूजा की जाती है। फाल्गुन मास की पूर्णिमा की रात्रि को होलिका दहन किया जाता है। होलिका दहन के पहले होली के डांडा को निकाल लिया जाता है। उसकी जगह लकड़ी का डांडा लगाया जाता है। फिर विधिवत रूप से होली की पूजा की जाती है और अंत में उसे जला दिया जाता है। होलिका में भरभोलिए जलाने की भी परंपरा है।ALSO READ: 07 मार्च से होलाष्टक, 14 मार्च से मलमास, जानें शुभ कार्य क्यों रहेंगे वर्जित
 
2. होलाष्‍टक कब से होगा प्रारंभ: होलाष्टक होलिका दहन से पूर्व के 8 दिनों की अवधि को कहते हैं। इस अवधि में समस्त शुभ एवं मांगलिक कार्यों का निषेध होता है। कहते हैं कि इस दौरान सभी ग्रह अपनी उग्रावस्था में होते हैं। मूल कारण यह है कि इन आठ दिनों के दौरान भक्त प्रहलाद को प्रताड़ित किया गया था और फिर उन्हें होलिका की गोद में बैठाकर उन्हें आग में जलाने का प्रयास‍ किया गया था परंतु होलिका आग में जल गई और भक्त प्रहलाद बच गए। वर्ष 2025 संवत 2081 में होलाष्टक का प्रारंभ फाल्गुन शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि दिनांक 07 मार्च 2025 से प्रारंभ होगा एवं इसकी समाप्ति फाल्गुन पूर्णिमा दिनांक 13 मार्च 2025 को होगी।