कुंभ मेले में पहली बार पहुंचे अमित शाह, त्रिवेणी में लगाई आस्था की डुबकी
प्रयागराज। दुनिया के सबसे बड़े आध्यात्मिक और सांस्कृतिक समागम कुंभ मेले में भारतीय जनता पार्टी अध्यक्ष अमित शाह ने सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ संगम में आस्था की डुबकी लगाई।
कुंभ मेले में पहली बार यहां पहुंचे शाह ने कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच गंगा, यमुना और अंत:सलिला स्वरूप सरस्वती के संगम में स्नान किया। उनके साथ भाजपा के संगठन महामंत्री रामलाल, प्रदेश भाजपा अध्यक्ष महेन्द्र नाथ पांडेय, उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष नरेन्द्र गिरि और महामंत्री हरि गिरि, जूना अखाड़ा के आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंद गिरि, राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष महंत धर्मदास महाराज, योगगुरु स्वामी रामदेव, परमार्थ निकेतन के मुनि चिदानंद और कई अखाड़ों के साधु-संतों ने भी संगम में स्नान किया।
भाजपा अध्यक्ष दोपहर करीब 12.35 बजे संगम नोज पर पहुंचे, जहां उन्होंने पहले से मौजूद साधु-संतों से आशीर्वाद लिया तथा बाद में संतों के साथ संगम में डुबकी लगाई। उन्होंने गंगा मइया को दूध और फूल चढ़ाया। इसके बाद सभी ने गंगा आरती में हिस्सा लिया।
शाह और अन्य सभी विशिष्टजनों को गंगा आरती कराने वाले प्रधान तीर्थ पुरोहित दीपू मिश्रा ने बताया कि बुधवार को दिव्य भव्य कुंभ में अमित शाह और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत विशिष्टजनों ने संगम में स्नान किया। इस स्नान और पूजन का संपूर्ण फल शाह और उनकी पार्टी को प्राप्त हो और मोदीजी पुन: प्रधानमंत्री बनें, यही कामना की गई। उन्होंने बताया कि 21 ब्राह्मणों ने गंगा आरती और पूजन आदि कराया।
स्नान के बाद अयोध्या में राम जन्मभूमि के प्रमुख पैरोकार महंत धर्मदास ने कहा कि राम जन्मभूमि पर कैसे भव्य राम मंदिर का निर्माण हो, इस बारे में हम सभी भाजपा अध्यक्ष अमित शाह और संगठन महामंत्री रामलाल से बात करेंगे। उच्चतम न्यायालय कैसे दिन-प्रतिदिन सुनवाई करे, इसको लेकर अदालत पर कैसे दबाव बनाएं, यह काम इनका (मोदी सरकार) है।
महंत धर्मदास ने कहा कि सही रूप से वहां जिसका अधिकार है, जिसका कागज है, उसे सौंपें। हिन्दू-मुस्लिम मामले को तूल देकर जनता को भ्रमित करना उचित नहीं है। रामजी की संपत्ति है, रामजी को ही मिले न कि किसी न्यास या व्यक्ति को देकर राम की संपत्ति को बर्बाद करें।
अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेन्द्र गिरि ने कहा कि मोदी और शाह ने अखाड़ा परिषद के सभी पदाधिकारियों के साथ संगम में स्नान किया, यह अच्छी बात है। संगम स्नान से वे पुण्य के भागी बनेंगे और उनकी मनोकामना पूर्ण होगी। अमित शाह अक्षय वट और सरस्वती कूप जाएंगे, इसके बाद लेटे हुए हनुमानजी के दर्शन करेंगे। कार्यक्रम में आगे वे स्वामी अवधेशानंद गिरि महाराज के यहां दोपहर भोजन करेंगे। वे कई अखाड़ों के संत-महात्माओं से मुलाकात करेंगे।