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Last Updated : बुधवार, 23 जून 2021 (18:19 IST)

370 हटाए जाने के बाद पहली बार होगी कश्मीरी नेताओं से मुलाकात

370 हटाए जाने के बाद पहली बार होगी कश्मीरी नेताओं से मुलाकात - Will meet Kashmiri leaders for the first time after the abrogation of 370
जम्मू। वर्ष 2019 में 5 अगस्त को कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटा दिए जाने और उसके 2 टुकड़े कर उसकी पहचान खत्म किए जाने की कवायद के उपरांत केंद्र सरकार पहली बार कश्मीरी नेताओं से कल जो मुलाकात करने जा रही है उसकी खास बात यह है कि केंद्र सरकार की ओर से कोई एजेंडा तय नहीं किया गया है, पर कश्मीरी नेताओं का एजेंडा राज्य का दर्जा पुनः पाने के अतिरिक्त अनुच्छेद 370 की बहाली भी है। इतना जरूर था कि जम्मू-कश्मीर प्रशासन के वर्तमान सर्वेसर्वा और उपराज्यपाल मनोज सिन्हा इस बैठक का हिस्सा नहीं होंगे।

कल 24 जून को दिल्ली के प्रधानमंत्री आवास पर होने वाली सर्वदलीय बैठक में तीन केंद्रीय मंत्रियों समेत कई वरिष्ठ अधिकारी एवं सुरक्षा एजेंसियों से जुड़े लोग शामिल होंगे। प्रधानमंत्री के अलावा इस बैठक में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह, रक्षामंत्री राजनाथ सिंह और केंद्रीय राज्यमंत्री जितेंद्र सिंह के शामिल होने की संभावना है।

इसके अलावा एनएसए अजीत डोभाल और होम सेक्रेटरी अजय भल्ला बैठक में सभी नेताओं से बातचीत करेंगे। जम्मू-कश्मीर में वर्तमान के हर हालात पर केंद्र की नजर बनी हुई है और खुद होम सेक्रेटरी पल-पल की अपडेट्स ले रहे हैं।

हालांकि बैठक का एजेंडा क्या है, अब तक इस पर किसी भी पार्टी या नेता को कोई जानकारी नहीं मिल सकी है। पर इतना जरूर था कि कश्मीरी नेताओं ने अपना एजेंडा जरूर तय कर लिया था। वे जम्मू-कश्मीर का दर्जा पुनः बहाल करने का एजेंडा लेकर प्रधानमंत्री से मुलाकात करने के लिए जा रहे हैं।

जम्मू-कश्मीर के प्रतिनिधियों के रूप में प्रदेश के सभी राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों को बुलाया गया है। इसमें नेशनल कॉन्‍फ्रेंस, पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी, पीपुल्स कॉन्‍फ्रेंस, जेकेएपी, कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी के प्रतिनिधि हिस्सा लेंगे। बैठक में जम्मू-कश्मीर राज्य के चार पूर्व मुख्यमंत्रियों को आमंत्रण भेजा गया है।

इसमें फारूक अब्दुल्ला, महबूबा मुफ्ती, उमर अब्दुल्ला और गुलाम नबी आजाद के नाम हैं। इसके अलावा सज्जाद लोन, अल्ताफ बुखारी, मोहम्मद युसूफ तारिगामी, निर्मल सिंह, कविंद्र गुप्ता सरीखे नेताओं को भी बुलाया गया है।

गुपकार गठबंधन के प्रवक्ता और सीपीआई (एम) के नेता एमवाई तारीगामी की ओर से कहा गया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ मुलाकात में कई मसलों पर बात की जाएगी, उनकी ओर से राज्य के स्पेशल स्टेटस को वापस देने की अपील भी की जाएगी। तारीगामी ने साफ कहा कि लोग ये ना समझें कि हम किसी कागज़ पर दस्तखत करने जा रहे हैं, हम घाटी के लोगों की मांग को सरकार के सामने रखेंगे।

वैसे भारतीय जनता पार्टी की ओर से गुपकार गठबंधन के फैसले का स्वागत किया गया है। भाजपा नेता रवींद्र रैना ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बैठक में गुपकार गठबंधन के फैसले होने का स्वागत किया, रैना ने कहा कि प्रदेश के विकास के मसले पर हम सरकार के साथ बात करेंगे।