पति कश्मीर में शहीद, बेटी की प्रेरणा से सेना में बनीं लेफ्टिनेंट
जम्मू। भारतीय सेना के राइफलमैन रविंदर साम्ब्याल 2 मई, 2015 को रेजिमेंट के साथ ड्रिल के दौरान शहीद हो गए थे। अब तीन साल बाद उनकी पत्नी नीरू साम्ब्याल अपनी ने बेटी की प्रेरणा से बतौर लेफ्टिनेंट आर्मी ज्वाइन की है। कॉलेज में एनसीसी का C सर्टिफिकेट प्राप्त करने वाली जम्मू-कश्मीर के सांबा जिले के बारी ब्रह्माना कस्बे की रहने वाली नीरू को 9 सितंबर को आर्मी ऑर्डिनेंस कोर में लेफ्टिनेंट बनाया गया। उन्होंने 2017 में सेना की परीक्षा दी थी और चेन्नै स्थित ऑफिसर्स ट्रेनिंग एकेडमी में सख्त ट्रेनिंग पूरी की।
किसी महिला का भरी जवानी में विधवा हो जाने का दर्द तो वही महिला जा सकती है। मगर नीरू ने अपने पति की मौत के बाद भी हिम्मत नहीं हारी। उसने अपनी बेटी के लिए सेना में खुद एक लेफ्टिनेंट बन गई।
नीरू साम्ब्याल अब आर्मी में हैं। नीरू का कहना है कि 'मैं अपने पति की मौत के बाद काफी दुखी हो गई थी। मगर मेरी बेटी मेरी प्रेरणा थी। इसलिए मैंने आर्मी में शामिल होने का फैसला किया और आज मैं एक लेफ्टिनेंट हूं।' नीरू कहती हैं कि सेना में रहने के लिए आपको मानसिक रूप से मजबूत होना होगा। नीरू की एक बेटी है, जिसकी उम्र करीब 3-4 साल है।
नीरू कहती है कि 2 मई 2015 को उन्होंने पति को खो दिया था, वो दिन उनकी जिंदगी में सबसे बुरा दिन था। पति के दुनिया से जाने के बाद उनकी जिंदगी काफी मुश्किल हो गई थी, लेकिन कुछ समय बाद उन्होंने खुद को संभाला। नीरू आर्मी ज्वॉइन करने के पीछे बेटी को प्रेरणा मानती हैं। उसी से प्रेरित होकर उन्होंने आर्मी में जाने का फैसला किया। नीरू राजपूत परिवार से हैं, उनके सामने सामाजिक बंधनों की कई चुनौतियां थीं, लेकिन उनकी सास और ससुर ने उनके लिए राह आसान कर दी। (एजेंसी)