मंदसौर रेपकांड : धीरे-धीरे कम हो रहा है पीड़ित बच्ची के मन का डर
इंदौर। मंदसौर में बर्बर सामूहिक बलात्कार की शिकार सात वर्षीय स्कूली छात्रा को इस वारदात के सदमे से उबारने के लिए मनोचिकित्सकों की मदद ली जा रही है। विशेषज्ञों का कहना है कि उसके मन में पैठा डर धीरे-धीरे कम हो रहा है। पीड़ित बच्ची मंदसौर से करीब 200 किलोमीटर दूर इंदौर के शासकीय महाराजा यशवंतराव चिकित्सालय (एमवायएच) में 27 जून की रात से भर्ती है।
एमवायएच के अधीक्षक वीएस पाल ने बताया कि शरीर के अलग-अलग अंगों में गंभीर चोटों के मद्देनजर तीन दिन पहले उसकी सर्जरी की गई थी और अब उसके घाव भर रहे हैं। उन्होंने बताया कि बच्ची के इलाज के दौरान हम मनोचिकित्सकों की मदद भी ले रहे हैं, ताकि वह दुष्कर्म के सदमे से जल्द से जल्द उबर सके। पाल खुद एक मनोचिकित्सक हैं। उन्होंने कहा कि वारदात के बाद बच्ची स्तब्ध और बेहद डरी हुई थी, लेकिन अब उसके चेहरे पर पहले के मुकाबले कम डर दिखाई दे रहा है।
इस बीच दो मनोचिकित्सकों ने सामूहिक बलात्कार पीड़ित बच्ची और उसके माता-पिता की आज काउंसलिंग की। बच्ची की काउंसिलिंग के बाद मनोचिकित्सक स्वाति प्रसाद ने बताया कि बच्ची उन चीजों के बारे में बात कर रही है, जो उसे पसंद हैं। मसलन- उसका पसंदीदा खेल, पसंदीदा खाना और पसंदीदा टीवी सीरियल आदि। ये बेहद सकारात्मक संकेत हैं जो बताते हैं कि वह सदमे से उबर रही है।
धीरे-धीरे उसकी मानसिक स्थिति और मजबूत होगी। प्रदेश सरकार ने बच्ची के बेहतर इलाज के लिए मुंबई के वरिष्ठ पीडियाट्रिक सर्जन रवि रामाद्वार को आज इंदौर बुलाया। उन्होंने एमवायएच में बच्ची की सेहत की जांच के बाद कहा कि बच्ची के इलाज की दिशा एकदम सही है और उम्मीद है कि वह जल्द ही गहन चिकित्सा इकाई (आईसीयू) से बाहर आएगी।