कार्तिक पूर्णिमा के दिन करें कार्तिकेय का पूजन
पौराणिक मान्यताओं के अनुसार कार्तिक मास बारह मासों में सबसे श्रेष्ठ मास माना गया है। यह भगवान कार्तिकेय द्वारा की गई साधना का माह माना जाता है। इस कारण ही इसका नाम कार्तिक महीना पड़ा।
इस दिन कार्तिकेय के पूजन का विशिष्ठ महत्व है। कहा जाता है कि कार्तिकेय को भगवान विष्णु द्वारा धर्म मार्ग को प्रबल करने की प्रेरणा दी गई है।
कार्तिकेय ने इसी आधार पर धर्मशास्त्र में भगवान विष्णु के दामोदर अवतार तथा अर्द्घांगिनी राधा का विशेष उल्लेख किया है।
* कार्तिक पूर्णिमा के दिन भी तीर्थ के समीप घी का दीपक लगाकर ब्राह्मण को सीदा दान करना चाहिए।
* तपश्चात तिल्ली के तेल के दीपों को नदी में छोड़ने का विधान धर्मशास्त्र में बताया गया है। ऐसा करने से पितरों को आदित्य विष्णुलोक की प्राप्ति होती है।