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Last Modified: केवड़िया (गुजरात) , बुधवार, 31 अक्टूबर 2018 (15:53 IST)

'सरदार' के बहाने कांग्रेस पर निशाना, मोदी बोले- मानो कोई अपराध कर दिया हो...

'सरदार' के बहाने कांग्रेस पर निशाना, मोदी बोले- मानो कोई अपराध कर दिया हो... - statue of unity pm modi unveil sardar vallabhbhai patels statue of unity
केवड़िया (गुजरात)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने दुनिया की सबसे ऊंची सरदार वल्लभ भाई पटेल की प्रतिमा को भारत के शाश्वत अस्तित्व का प्रतीक बताते हुए कहा कि सरदार पटेल ने सैकड़ों रियासतों का विलय कर और देश का एकीकरण करके इसे तोड़ने की साजिश को परास्त करने का काम किया। उन्होंने अपने भाषण में कांग्रेस का नाम लिए बगैर उस पर निशाना साधा। मोदी ने कहा कि कुछ लोग हमारा विरोध भी कर रहे थे। 
 
सरदार पटेल की 143वीं जयंती के अवसर पर उनकी 182 फुट ऊंची प्रतिमा को राष्ट्र को समर्पित करते हुए मोदी ने कहा कि हमारी जिम्मेदारी है कि हम देश को बांटने की हर तरह की कोशिश का पुरजोर जवाब दें इसलिए हमें हर तरह से सतर्क रहना है। समाज के तौर पर एकजुट रहना है। आज देश के लिए सोचने वाले युवाओं की शक्ति पास है। देश के विकास के लिए यही एक रास्ता है जिसको लेकर आगे बढ़ने की जरूरत है। देश की एकता, अखंडता और सार्वभौमिकता को बनाए रखना एक ऐसा दायित्व है, जो सरदार पटेल देकर गए हैं।
 
प्रधानमंत्री ने कहा कि कई बार तो मैं हैरान रह जाता हूं, जब देश में ही कुछ लोग हमारी इस मुहिम को राजनीति से जोड़कर देखते हैं। सरदार पटेल जैसे महापुरुषों व देश के सपूतों की प्रशंसा करने के लिए भी हमारी आलोचना होने लगती है। ऐसा अनुभव कराया जाता है, मानो हमने बहुत बड़ा अपराध कर दिया है। उन्होंने जोर दिया कि करोड़ों भारतीयों की तरह उनके मन में एक ही भावना थी कि जिस व्यक्ति ने देश को एक करने के लिए इतना बड़ा पुरुषार्थ किया हो, उसको वो सम्मान अवश्य मिलना चाहिए जिसका वो हकदार है।
 
देश के एकीकरण में सरदार पटेल के योगदान को रेखांकित करते हुए मोदी ने कहा कि जिस कमजोरी पर दुनिया उस समय ताने दे रही थी, उसी को ताकत बनाते हुए सरदार पटेल ने देश को रास्ता दिखाया। उसी रास्ते पर चलते हुए संशय में घिरा वह भारत आज दुनिया से अपनी शर्तों पर संवाद कर रहा है, दुनिया की बड़ी आर्थिक और सामरिक शक्ति बनने की तरफ आगे बढ़ रहा है। ये प्रतिमा भारत के अस्तित्व पर सवाल उठाने वालों को यह याद दिलाने के लिए है कि ये राष्ट्र शाश्वत था, शाश्वत है और शाश्वत रहेगा।
मोदी ने कहा कि सरदार साहब का सामर्थ्य तब भारत के काम आया था, जब देश 550 से ज्यादा रियासतों में बंटा था। दुनिया में भारत के भविष्य के प्रति घोर निराशा थी। निराशावादियों को लगता था कि भारत अपनी विविधताओं की वजह से ही बिखर जाएगा, लेकिन सरदार पटेल के इसी संवाद व एकीकरण की शक्ति को समझते हुए उन्होंने अपने राज्यों का विलय कर दिया। देखते ही देखते भारत एक हो गया। प्रधानमंत्री ने कहा कि कच्छ से कोहिमा तक, कारगिल से कन्याकुमारी तक आज अगर बेरोकटोक हम आ-जा पा रहे हैं तो ये सरदार साहब की वजह से और उनके संकल्प से ही संभव हो पाया है।
 
उन्होंने कहा कि सरदार पटेल ने संकल्प न लिया होता तो आज गिर के शेर को देखने, सोमनाथ में पूजा करने और हैदराबाद की चारमीनार को देखने के लिए वीजा लेना पड़ता। उनका संकल्प न होता तो कश्मीर से कन्याकुमारी तक की सीधी ट्रेन की कल्पना भी नहीं की जा सकती थी।
 
मोदी ने कहा कि देश के लोकतंत्र से सामान्य जन को जोड़ने के लिए वे समर्पित रहे। महिलाओं को भारत की राजनीति में सक्रिय योगदान का अधिकार देने के पीछे भी सरदार पटेल का बहुत बड़ा रोल रहा है। सरदार पटेल चाहते थे कि भारत सशक्त, सुदृढ़, संवेदनशील, सतर्क और समावेशी बने। हमारे सारे प्रयास उनके इसी सपने को साकार करने की दिशा में हो रहे हैं।
 
उन्होंने कहा कि सरदार पटेल का ये स्मारक उनके प्रति करोड़ों भारतीयों के सम्मान, हमारे सामर्थ्य का प्रतीक तो है ही, ये देश की अर्थव्यवस्था, रोजगार निर्माण का भी महत्वपूर्ण स्थान होने वाला है। इससे हजारों आदिवासियों को हर वर्ष सीधा रोजगार मिलने वाला है।
 
प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन के दौरान सरकार की जनकल्याण योजनाओं का जिक्र किया। इसमें गैस कनेक्शन उपलब्ध कराने, शौचालयों का निर्माण, हर बेघर को पक्का घर, गांव-गांव में बिजली सुविधा मुहैया कराने की पहल शामिल है। उन्होंने प्रतिमा के निर्माण में शामिल कामगारों, शिल्पकारों तथा शिल्पकार राम सुतार की टीम को धन्यवाद दिया।
 
उल्लेखनीय है कि यह प्रतिमा अमेरिका में स्थित 'स्टैच्यू ऑफ लिबर्टी' से करीब दो गुनी ऊंची है और गुजरात के नर्मदा जिले में सरदार सरोवर बांध के पास साधु बेट नामक छोटे द्वीप पर स्थापित की गई है। इस प्रतिमा के निर्माण में 70,000 टन से ज्यादा सीमेंट, 18,500 टन री-एंफोर्समेंट स्टील, 6,000 टन स्टील और 1,700 मीट्रिक टन कांसे का इस्तेमाल हुआ है। गुजरात के राज्यपाल ओपी कोहली, मुख्यमंत्री विजय रूपाणी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह 'स्टैच्यू ऑफ यूनिटी' के लोकार्पण के दौरान मौजूद थे। (भाषा)
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