• Webdunia Deals
  1. समाचार
  2. मुख्य ख़बरें
  3. राष्ट्रीय
  4. Riyaz Naikoo was the face of Hizbul Mujahideen after terrorist Burhan Wani

आतंकी बुरहान वानी के बाद हिजबुल का चेहरा था रियाज नायकू

आतंकी बुरहान वानी के बाद हिजबुल का चेहरा था रियाज नायकू - Riyaz Naikoo was the face of Hizbul Mujahideen after terrorist Burhan Wani
जम्मू। आज मारा गया हिजबुल मुजाहिदीन का शीर्ष आतंकी रियाज नायकू वर्ष 2016 में बुरहान वानी की मौत के बाद कश्मीर में हिजबुल मुजाहिदीन का चेहरा था और कश्मीर में हिजबुल मुजाहिदीन में वह सैकड़ों युवकों को भर्ती कर चुका था। ए++कैटेगरी का ये आतंकवादी दक्षिण कश्मीर का ही रहने वाला था। रियाज पर 12 लाख का इनाम रखा गया था। रियाज नायकू आतंकवादी बनने से पहले पेंटिंग करता था और बच्चों को मैथ्स पढ़ाता था।


पुलिस को अनुसार नायकू की मां का स्वास्थ्य पिछले कई दिनों से खराब चल रहा था। वह अपनी मां से मिलने के लिए ही मंगलवार को अपने गांव पेगीपोरा पहुंचा था। उसके साथ दो से तीन और आतंकी भी थे। विश्वसनीय सूत्रों ने मंगलवार रात को ही पुलिस को यह जानकारी दे दी।

सूचना मिलते ही पुलिस की एसओजी, सेना की 55 आरआर और सीआरपीएफ 185 बटालियन के जवानों ने गांव पेगीपोरा की घेराबंदी कर ली थी। सुबह नायकू को ढूंढने के लिए जब घर-घर की तलाशी लेना शुरू किया गया तो अपने आपको घिरता देख आतंकवादियों ने सुरक्षाबलों पर गोलीबारी शुरू कर दी।

हिजबुल के पोस्टर ब्‍वॉय और कमांडर बुरहान वानी के मारे जाने के बाद रियाज नायकू ने हिजबुल मुजाहिदीन के कमांडर के रूप में कमान संभाली। वानी 8 जुलाई, 2016 को अनंतनाग जिले के कोकरनाग इलाके में सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में मारा गया था। नायकू के सिर पर सुरक्षाबलों ने 12 लाख रुपए इनाम रखा था।

हिजबुल में शामिल होने से पहले नायकू एक स्थानीय स्कूल में गणित पढ़ाता था। 33 साल की उम्र में बंदूक उठाने से पहले वह गुलाबों को पेंट करने के लिए जाना जाता था। जब हिजबुल के एक कमांडर जाकिर मूसा ने संगठन से होकर अंसार गजवात उल हिंद का गठन किया तो नायकू ने हिजबुल को एकजुट रखने में अहम भूमिका निभाई।

मूसा ने 2017 में हिजबुल से अलग होकर अपना खुद का समूह बनाया जो अलकायदा का भारतीय सहयोगी होने का दावा करता था। 23 मई, 2019 को सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में त्राल तहसील के डडसरा इलाके में मूसा मारा गया। उसके बाद मूसा के संगठन के सभी आतंकी को सुरक्षाबलों ने मार गिराया।

नायकू को घाटी में काफी दुर्दांत आतंकवादी माना जाता था। उसे चार पुलिसकर्मियों सहित 20 लोगों की हत्या का जिम्मेदार बताया जाता है। जुलाई 2016 में आतंकवादी बुरहान वानी के मारे जाने के बाद नायकू का नाम कमांडर के रूप में तेजी से उभरा। बुरहान के मारे जाने के बाद आतंकियों के जनाजे में जुलूस निकालने की योजना इसी की दिमाग की उपज मानी जाती है।

बुरहान वानी के मारे जाने के बाद नायकू हिजबुल का टॉप कमांडर बन गया। वानी की मौत के बाद मारे गए आतंकियों के जुलूस में ज्यादा से ज्यादा लोगों के शामिल होने के लिए इसने जोर लगाया और इसमें वह काफी हद तक कामयाब हुआ। नायकू इन जुलूसों में शामिल होने वाले युवाओं को आतंक के रास्ते पर चलने के लिए उकसाता और उन्हें बंदूक पकड़ने के लिए बरगलाता एवं गुमराह करता आया था।